भारत में बोली जानी वाली 22 भाषाओं की लिपि - भारतीय लिपियों के नाम - 22 भाषाओं के नाम और उनकी लिपि क्या है ?भारतीय संविधान द्वारा 22 भाषाओं को राजभाषा की मान्यता प्रदान की गयी है। संविधान के अनुच्छेद 344 के अंतर्गत पहले केवल 15 भाषाओं को राजभाषा की मान्यता दी गयी थी, लेकिन 21वें संविधान संशोधन के द्वारा सिन्धी को तथा 71वाँ संविधान संशोधन द्वारा नेपाली, कोंकणी तथा मणिपुरी को भी राजभाषा का दर्जा प्रदान किया गया। बाद में 92वाँ संविधान संशोधन अधिनियम, 2003 के द्वारा संविधान की आठवीं अनुसूची में चार नई भाषाओं बोडो, डोगरी, मैथिली तथा संथाली को राजभाषा में शामिल कर लिया गया। इस प्रकार अब संविधान में 22 भाषाओं को राजभाषा का दर्जा प्रदान किया गया है। नीचे हम 22 भाषाओं के नाम और उनकी लिपि क्या है ? की जानकारी दे रहे है। क्रम संख्या Show भाषा का नाम भाषा की लिपि 1 कोंकणी कोंकणी अनेक लिपियों में लिखी जाती रही है; जैसे - देवनागरी, कन्नड, मलयालम और रोमन। गोवा को राज्य का दर्जा मिलने के बाद देवनागरी लिपि में कोंकणी को वहाँ की राजभाषा घोषित किया गया है। 2 मलयालम मलयालम ("മലയാളം") में शलाका लिपि 3 मणिपुरी इस भाषा की अपनी लिपि है, जिसे स्थानीय लोग मेइतेई माएक कहते हैं। 4 मराठी "मराठी" भाषा को लिखने के लिए देवनागरी और इसके प्रवाही स्वरूप मोदी, दोनों लिपियों का उपयोग होता है। 5 नेपाली नेपाली 6 उड़िया उड़िया ("ଓରିୟା") 7 संस्कृत संस्कृत 8 सिंधी सिंधी भाषा मुख्यत: दो लिपियों में लिखी जाती है, अरबी-सिंधी लिपि 9 संथाली इस भाषा की अपनी पुरानी लिपि का नाम 'ओल चिकी' है। अंग्रेजी काल में संथाली रोमन में लिखी जाती थी। 10 उर्दू उर्दू ("اردو") के लिए फ़ारसी-अरबी लिपि प्रयुक्त होती है। उर्दू नस्तालीक़ लिपि में लिखी जाती है, जो फ़ारसी-अरबी लिपि का एक रूप है। उर्दू दाएँ से बाएँ लिखी जाती है। 11 तेलुगु तेलुगु ("తెలుగు") 12 बोडो - 13 तमिल तमिल ("தமிழ்") ऐतिहासिक रूप से तमिल लेखन प्रणाली का विकास ब्राह्मी लिपि से वट्टे-लुटटु (मुड़े हुए अक्षर) और कोले-लुट्टु (लम्बाकार अक्षर) के स्थानीय रूपांतरणों के साथ हुआ। तमिलनाडु तथा पुदुचेरी में यह राजभाषा है। 14 पंजाबी पंजाबी ("ਪੰਜਾਬੀ"),गुरुमुखी 15 मैथिली देवनागरी व तिरहुता लिपि। तिरहुता लिपि को मिथिलाक्षर लिपि अथवा मिथिलाक्षरा भी कहा जाता है। 16 असमिया असमिया लिपि मूलत: ब्राह्मी का ही एक विकसित रूप है। 17 बंगाली/बांग्ला बांग्ला ("বাংলা") लिपि मूलत: ब्राह्मी लिपि और असमिया लिपि का विकसित रूप है। बंगाली लिपि नागरी लिपि से कुछ कुछ भिन्न है किन्तु दोनों में बहुत अधिक साम्य भी है। 18 डोगरी डोगरी की अपनी एक लिपि है जिसे टाकरी या टक्करी लिपि कहते हैं। यह लिपि काफी पुरानी है। गुरमुखी लिपि का प्रादुर्भाव इसी से माना जाता है। 19 गुजराती यह भाषा गुजराती लिपि में लिखी जाती है। गुजराती लिपि, नागरी लिपि से व्युत्पन्न हुई है। गुजराती भाषा में लिखने के लिए देवनागरी लिपि को परिवर्तित करके गुजराती लिपि बनायी गयी थी। 20 हिन्दी देवनागरी 21 कश्मीरी 15वीं सदी तक कश्मीरी भाषा केवल शारदा लिपि में लिखी जाती थी। बाद में फारसी लिपि का प्रचलन बढ़ता गया लेकिन आजकल यह देवनागरी में भी लिखी जा रही है। 22 कन्नड़ कन्नड लिपि ब्राह्मी से व्युत्पन्न एक भारतीय लिपि है जिसका प्रयोग कन्नड लिखने में किया जाता है।
विश्वभर में कुल कितनी लिपियां है ?एक अनुमान के अनुसार संसार में केवल तीन प्रकार की ही मूल लिपियाँ (या लिपि परिवार) है,जो निम्न है -
लेकिन इन लिपि परिवार में विश्व भर में अलग - अलग भाषाओं को लिखने के लिए 24 लिपियों को विकसित किया गया है। लेकिन आधिकारिक रूप से लिपि की संख्या निर्धारित नहीं है। यदि "लिपि क्या है और भिन्न भाषाओ की भिन्न लिपियों के नाम" टॉपिक पर आधारित यह ब्लॉग पोस्ट आपको अच्छी लगी है तो इसे सोशल मीडिया पर शेयर जरूर करे। हिंदी की लिपि का क्या नाम है?देवनागरी लिपि, जिसमें १४ स्वर और ३३ व्यञ्जन सहित ४७ प्राथमिक वर्ण हैं, दुनिया में चौथी सबसे व्यापक रूप से अपनाई जाने वाली लेखन प्रणाली है, जिसका उपयोग १२० से अधिक भाषाओं के लिए किया जा रहा है।
हिंदी में कितने लिपि है?जैसे हिंदी भाषा को लिखने के लिए देवनागरी लिपि का प्रयोग किया जाता है वही अंग्रेजी को लिखने के लिए रोमन लिपि का प्रयोग किया जाता है . लिपि के उदाहरण(Lipi ke udaharan)– गुरुमुखी(gurmukhi lipi), रोमन लिपि, पंजाबी(panjabi lipi), देवनागरी(devnagri lipi), गुजराती, उड़िया, टाकरी ,कैथी इत्यादि.
हिंदी भाषा का क्या नाम है?'देशी', 'भाखा' (भाषा), 'देशना वचन' (विद्यापति), 'हिन्दवी', 'दक्खिनी', 'रेखता', 'आर्यभाषा' (दयानन्द सरस्वती), 'हिन्दुस्तानी', 'खड़ी बोली', 'भारती' आदि हिन्दी के अन्य नाम हैं जो विभिन्न ऐतिहासिक कालखण्डों में एवं विभिन्न सन्दर्भों में प्रयुक्त हुए हैं।
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