ग्राम पंचायत का द्वितीय अपील अधिकारी कौन होता है - graam panchaayat ka dviteey apeel adhikaaree kaun hota hai

यदि अपील डिम्ड रिफयजल के विरूद्व किया जाना है तो जिस लोक सूचना अधिकारी के यहां आवेदन किया गया था उसका नाम एवं पता और तिथि एवं नम्बर सहित आवेदन का संक्षिप्त विवरण दें।


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आयोग से निवेदन व प्रार्थना

लोक सूचना अधिकारी को मेरे आवेदन में मांगी गई सूचना बिना किसी शुल्क के तुरन्त सात दिनों में प्रदान करने का आदेश दें। साथ ही आयोग से यह भी निवेदन है कि लोक सूचना अधिकारी के विरुद्व कानून की धारा 20(1) के तहत ज़ुर्माना लगाएं और धारा 20(2) के तहत लोक सूचना अधिकारी के विरुद्व अनुशासनात्मक कार्यवाही के लिये सिफारिश भी करें आयोग से निवेदन है कि मै इस मामले की सुनवाई में स्वयं या अपने प्रतिनिधि के माध्यम से उपस्थित रहना चाहता हूं। अत: मुझे सभी सुनवाइयों की अगि्रम सूचना अवश्य प्रदान करें। साथ ही में यह भी निवेदन करना चाहता हूं कि इस मामले पर फैसला सुनवाई करने के बाद ही करें।

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निवेदन व प्रार्थना का आधार

लोक सूचना अधिकारी ने सूचनाएं अब तक नही उपलब्ध् कराई है इसलिए सुचना का अधिकार अधिनियम, 2005 की धारा 19/18 के तहत अपील/शिकायत दायर की जा रही है। सुचना का अधिकार अधिनियम, 2005 की धारा 7(6) का संज्ञान लेते हुए लोक सूचना अधिकारी को आदेश दें कि सभी सूचनाएं मुफ्त में उपलब्ध् कराई जाये। साथ ही सूचना का अधिकार अधिनियम, 2005 की धारा 20(1) एवं (2) के तहत लोक सूचना अधिकारी पर 250 रू0 प्रतिदिन के हिसाब से जुर्माना लगाये और  अनुशासनात्मक कार्यवाही के लिये सिफारिश भी करें।

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अन्य सूचनाएं (यदि है तो)


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सत्यापन

उपरोक्त अपील/ शिकायत के तथ्यों को दिनांक...........को सत्यापित किया गया है।


मैं ....................................... सत्यापित करता हूं कि उपरोक्त मामले की सुनवाई किसी अन्य न्यायालय, अधिकरण अथवा किसी अन्य प्राधिकरण में नहीं की गई है अथवा विचाराधीन नहीं है। इस अपील में प्रदान की गई सूचनाएं मेरी जानकारी में सही हैं।

इसे सुनेंरोकेंसूचना का अधिकार अधिनियम नागरिकों को ग्राम पंचायत के जन सूचना अधिकारी (पीआईओ) से जानकारी मांगने का अधिकार देता है। ग्राम पंचायत सचिव, ग्राम पंचायत का जन सूचना अधिकारी (पीआईओ) होता है। सूचना देने में जानबूझकर और अनुचित रूप से मनाही करने पर आरटीआई के अंतर्गत दंड लगाया जा सकता है।

आरटीआई की प्रथम अपील कैसे करें?

इसे सुनेंरोकेंप्रथम अपील आप डाक द्वारा या व्यक्तिगत रूप से संबंधित कार्यालय में जाकर जमा करा सकते हैं. प्रथम अपील के साथ आरटीआई आवेदन, लोक सूचना अधिकारी द्वारा उपलब्ध कराई गई सूचना (यदि उपलब्ध कराई गई है तो) एवं आरटीआई आवेदन के साथ दिए गए शुल्क की रसीद आदि की फोटोकॉपी लगाना न भूलें.

सरपंच के खिलाफ आरटीआई कैसे लगाई जाती है?

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Gram Pradhan Ki Sikayat RTI से कैसे करें OFFLINE अप्लाई:

  1. आवेदन पत्र का फॉर्मेट इन्टरनेट से डाउनलोड कर सकते है या फिर सादे कागज पर हाथ से लिखी हुई या टाइप की गई ऐप्लिकेशन के जरिए संबंधित विभाग से जानकारी मांगी जा सकती है।
  2. RTI की एप्लीकेशन आप किसी भी भारतीय भाषा जैसे हिंदी, इंग्लिश या किसी भी स्थानीय भाषा में दे सकते हैं

इसे सुनेंरोकेंग्राम पंचायत सचिव, ग्राम पंचायत का जन सूचना अधिकारी (पीआईओ) होता है। सूचना देने में जानबूझकर और अनुचित रूप से मनाही करने पर आरटीआई के अंतर्गत दंड लगाया जा सकता है। पीआईओ पर 250 रुपये प्रतिदिन के हिसाब से अधिकतम 25,000 रुपये तक का जुर्माना लगाया जा सकता है।

प्रथम अपील कब करें?

इसे सुनेंरोकेंयदि सूचना न मिले या प्राप्त सूचना से आप संतुष्ट न हों तो अपीलीय अधिकारी के पास सूचना का अधिकार अधिनियम के अनुच्छेद 19(1) के तहत एक अपील दायर की जा सकती है. हर विभाग में प्रथम अपीलीय अधिकारी होता है. सूचना प्राप्ति के 30 दिनों और आरटीआई अर्जी दाखिल करने के 60 दिनों के भीतर आप प्रथम अपील दायर कर सकते हैं.

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ग्राम पंचायत के लिए आरटीआई कैसे लगाएं?

इसे सुनेंरोकेंग्राम पंचायत की वेबसाइट द्वारा स्वेच्छा से सूचना देना (पहल करना) ग्राम पंचायत की वेबसाइट का उपयोग सूचना का अधिकार अधिनियम के तहत पहल करने के लिए तथा ग्रामीणों के लिए अन्य महत्त्वपूर्ण सूचना प्रदान करने के लिए किया जा सकता है। एरिया प्रोफाइलर और नेशनल पंचायत पोर्टल का उपयोग इस प्रयोजन के लिए किया जा सकता है।

ग्राम पंचायत का प्रथम अपीलीय अधिकारी कौन होता है?

इसे सुनेंरोकेंपदानुक्रम में प्रथम अपीलीय प्राधिकरण, लोक सूचना अधिकारी से वरिष्ठ अधिकारी होता है। वह आवेदन स्वीकार करने, आवेदक द्वारा माँगी गई सूचना के अनुसार लोक सूचना अधिकारी को सूचना आपूर्त्ति का आदेश देने या सूचना के अधिकार अधिनियम- 2005 के किसी भाग के अंतर्गत आवेदन को अस्वीकृत करने के लिए उत्तरदायी होता है।

पंचायतीराज संस्थाओं से सूचना का अधिकार अधिनियम के तहत लोक सूचना अधिकारी के सूचना नहीं देने या भ्रमित सूचना देने के मामलों में राज्य सरकार ने अपील के प्रावधानों में परिवर्तन किया गया है। अब तक ग्राम पंचायत के सचिव के विरुद्ध प्रथम अपील सरपंच को, पंचायत समिति बीडीओ के विरुद्ध प्रधान को, तथा जिला परिषद सीईओ के विरुद्ध जिला प्रमुख को अपील प्रस्तुत की जाती थी।

जिन पंचायती राज संस्थाओं में अब तक सरपंच, प्रधान तथा प्रमुख के चुनाव नहीं हुए हैं, उनमें ग्राम पंचायत के सचिव के आदेश की अपील पंचायत समिति बीडीओ को, बीडीओ के विरुद्ध जिला परिषद सीईओ को तथा मुख्य कार्यकारी अधिकारी के विरुद्ध कलेक्टर को प्रथम अपील अधिकारी बनाया गया है। पंचायतीराज संस्थाओं के अध्यक्षों का कार्यकाल समाप्त होने के 5 माह बाद यह व्यवस्था की गई है।