Garuda purana: हिंदू धर्म में सूर्यास्त के बाद शव का दाह संस्कार नहीं किया जाता. रात में यानी सूर्यास्त के बाद दाह संस्कार करने पर मान्यता है कि स्वर्ग के द्वार बंद हो जाते हैं और नर्क के द्वार खुल जाते हैं. ऐसे में जीव की आत्मा को नरक का कष्ट भोगना पड़ता है. मृत्यु के बाद व्यक्ति के शव को अकेला भी नहीं छोड़ा जाता है. दरअसल इसका संबंध गरुड़ पुराण से है. आइए समझते हैं इसके पीछे का कारण. Show इसलिए शव को नहीं छोड़ते अकेला:
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BTC$ 20332.83 Fri, Nov 04, 2022 04.37 AM UTC ETH$ 1549.53 Fri, Nov 04, 2022 04.37 AM UTC USDT$ 1 Fri, Nov 04, 2022 04.37 AM UTC BNB$ 342.12 Fri, Nov 04, 2022 04.37 AM UTC usd-coin$ 1 Fri, Nov 04, 2022 04.37 AM UTC XRP$ 0.46 Fri, Nov 04, 2022 04.37 AM UTC terra-luna$ 2.51 Tue, Oct 18, 2022 03.06 PM UTC solana$ 31.8 Fri, Nov 04, 2022 04.37 AM UTC Trending TopicsZimbabweIndiaMatch will be start at 06 Nov,2022 03:00 PM Most Read Storiesमरे हुए इंसान को अकेला क्यों नहीं छोड़ते हैं?शव को अकेला क्यों नहीं छोड़ा जाता
इसके पीछे कारण यह है कि जब किसी व्यक्ति की मृत्यु सूर्योस्त के बाद होती है। तो शव का दाह संस्कार नहीं किया जाता है और शव के पास कोई न कोई व्यक्ति जरूर मौजूद रहता है। क्योंकि गरुड़ पुराण के अनुसार अगर शव को अकेला छोड़ दिया तो उसमें से गंध आ सकती है।
रात में लाश को क्यों नहीं छोड़ा जाता है?इसके इलावा शास्त्रों के अनुसार ऐसा भी माना जाता है कि जब किसी व्यक्ति की मृत्यु हो जाती है, तो उसका शरीर एकदम खाली हो जाती है. ऐसे में रात के समय जो दूसरी भटकती आत्माएं होती है, वो उसके खाली शरीर में प्रवेश कर सकती है. यही वजह है कि मृत्यु के बाद रात के समय लाश को नहीं छोड़ा जाता अकेला.
मनुष्य के मरने का शुभ समय कौन सा है?- मृत्यु जीवन का अटल सत्य हैं, जिसने जन्म लिया उसे एक ना एक दिन मरना भी है, लेकिन अगर परिवार किसी की मृत्यु हो जाती हैं तो लोग उसके अंतिम संस्कार की बहुत जल्दबाजी करने लगते है, लेकिन शास्त्रों में उल्लेख आता हैं कि शव का अंतिम संस्कार जल्दबाजी में बिलकुल भी नहीं करना चाहिए, अगर किसी व्यक्ति की सूर्योदय से लेकर ...
मरने के बाद आत्मा कितने दिन तक घर में रहती है?इसलिए ही गुरुड़ पुराण में बताया गया है जब किसी मनुष्य की मृत्यु हो जाती है तो उसकी आत्मा 13 दिनों तक अपने परिजनों के पास घर में भटकती रहती है और उसके बाद आत्मा मृत लोक से यमलोक की ओर निकल पड़ती है जिसे पूरा करने के लिए उसे 12 महीने यानि कि 1 साल का वक्त लगता है इतना ही नहीं मान्यता के अनुसार 13 दिनों तक मृतक के नाम का ...
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