समुद्र में बिजली का तार डालने से क्या होगा? - samudr mein bijalee ka taar daalane se kya hoga?

कभी आपने सोचा है कि अगर किसी नदी में करंट का तार गिर जाए या कोई गिरा दे तो क्या होगा? क्या नदी में करंट फैल जाएगा और बहुत ज्यादा मुश्किल हो जाएगी. जानते हैं ऐसा होने पर क्या होगा.

समुद्र में बिजली का तार डालने से क्या होगा? - samudr mein bijalee ka taar daalane se kya hoga?

करंट फैलने के लिए पानी का अशुद्ध होना जरूरी है.

ये तो आप जानते हैं कि पानी में करंट (Current In Water) फैलता है. कहा जाता है कि पानी और करंट का काफी ज्यादा याराना होता है. अब सवाल ये है कि अगर मान लीजिए कोई बिजली का तार नदी में गिर जाए तो क्या होगा? आप भी सोच रहे होंगे कि अगर हकीकत में ऐसा हो जाए तो सही में बवाल हो सकता है, क्योंकि करंट नदी (Current In River) में फैल सकता है. इसके साथ ही लोगों के मन में ये भी सवाल होंगे कि अगर ऐसा हो तो करंट फैलेगा या नहीं. अगर करंट फैलता है तो कितनी दूर तक फैल सकता है और इसका कितना नुकसान हो सकता है.

ऐसे में अगर आपके मन में भी ऐसे ही सवाल हैं तो हम आपको बता रहे हैं कि अगर सही में नदी में बिजली का तार गिर जाए तो क्या होगा और उस वक्त कौनसी परिस्थितियां उत्पन्न होगी. तो जानते हैं इस स्थिति से जुड़े हर एक सवाल का जवाब…

अगर नदी में तार डाल दे तो क्या होगा?

आपको बता दें कि पानी में करंट फैलने के लिए सिर्फ पानी की ही जरूरत नहीं होती है, बल्कि पानी का अशुद्ध होना जरूरी है. अगर पानी शुद्ध है तो इसमें बिजली यानी करंट का इतना ज्यादा असर नहीं पड़ता है. ऐसे में कहा जाता है कि पानी के शुद्ध और अशुद्ध होने पर यह निर्भर करता है कि पानी में करंट कितना फैलेगा. इसलिए माना जा सकता है कि बहते पानी में इसका ज्यादा असर नहीं होगा. अगर यह कोई तालाब या जहां पानी इकट्ठा हो या फिर कुछ दूर में पानी पड़ा हो वहां हो जाए तो दिक्कत हो सकती है.

अगर मान लीजिए पानी भी अशुद्ध हो?

अब सवाल है कि अगर मान लीजिए पानी भी अशुद्ध हो तो क्या होगा. अगर पानी ऐसा है कि जिसमें करंट फैल सकता है तो भी ऐसा नहीं है कि जहां तक पानी है, वहां तक पानी फैल जाएगा. ऐसे में करंट के वोल्टेज पर निर्भर करता है कि करंट कितनी दूर तक फैलने वाला है. यह करंट के वोल्टेज से पता चलता है कि कितनी दूरी तक करंट का असर रहेगा, ऐसा नहीं है कि पूरे पानी में करंट रहेगा. यह कुछ ही दूरी तक रहेगा और हो सकता है ज्यादा दूरी तक ना हो. इस वक्त पानी में बुलबुले उठने वाली गर्मी होगी.

अगर उस वक्त कोई पानी में हो?

अब सवाल ये है कि अगर किस वक्त नदी या तालाब में बिजली का तार गिरे, उस वक्त कोई वहां तैर रहा हो तो क्या होगा. तो यह उसकी गहराई, तार से दूरी या फिर तार के वोल्टेज पर उस वक्त की स्थिति निर्भर करती है. अगर वह तार के पास हो और वोल्टेज भी ज्यादा हो तो उसे कुछ नुकसान भी हो सकता है.

11000 वोल्टेज की तार को समुद्र में डालने पर करंट कितनी दूरी तक जाएगा?...


चेतावनी: इस टेक्स्ट में गलतियाँ हो सकती हैं। सॉफ्टवेर के द्वारा ऑडियो को टेक्स्ट में बदला गया है। ऑडियो सुन्ना चाहिये।

जब 11000 की लाइन को समुद्र में डाला जाएगा तो समुद्र में करंट फैल जाएगा क्योंकि बिजली की गति प्रकाश की गति के ही बराबर होती है लगभग 300000 किलोमीटर प्रति सेकंड था जब तक लाइन में रिलीज ऑपरेट नहीं होता था लाइन कट नहीं हो जाती उतनी चेकिंग में यह समुद्र में कितने किलोमीटर है ले जाएगा क्योंकि रिले को ऑपरेट होने में सेकंड किया बहुत कम समय लगता है रेलवे के ऑपरेट होने पर इसमें अर्थ फाल्ट बन जाएगा ऑनलाइन कट हो जाएगी

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समुद्र में बिजली का तार डालने से क्या होगा? - samudr mein bijalee ka taar daalane se kya hoga?

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वेदों में धातुओं के तार बनाकर उनका उपयोग करने का उपदेश है- युवं पैदवे पुरूवारमश्विना स्पृधां श्वेतं तरूतारं दुवस्यथः। शर्यैरभिद्युं पृतनासु दुष्टरं चर्कत्यमिन्द्रमिव चर्षणीसहम्।। -ऋग्वेद अष्ट1।अ8।व21।मं10।।> >

प्राचीनकाल में ऊंचे उड़ने वाले गुब्बारे, पैराशूट, बिजली और बैटरी जैसे कई उपकरण थे। भारत के ऋषियों ने धर्म के साथ ही विज्ञान का भी विकास किया था। उस काल में वायुयान होते थे, बिजली होती थी, अंतरिक्ष में सफर करने के लिए अंतरिक्ष यान भी होते थे। आज बहुत से लोग शायद इस पर विश्वास न करें लेकिन खोजकर्ताओं ने अब धीरे-धीरे इसे स्वीकार करना शुरू कर दिया है। किसी भी देश और उसकी संस्कृति के इतिहास को धर्म के आईने से नहीं देखा जाना चाहिए।
वैज्ञानिक ऋषियों के क्रम में महर्षि अगस्त्य भी एक वैदिक ऋषि थे। निश्चित ही आधुनिक युग में बिजली का आविष्कार माइकल फैराडे ने किया था। बल्ब के अविष्कारक थॉमस एडिसन अपनी एक किताब में लिखते हैं कि एक रात मैं संस्कृत का एक वाक्य पढ़ते-पढ़ते सो गया। उस रात मुझे स्वप्न में संस्कृत के उस वचन का अर्थ और रहस्य समझ में आया जिससे मुझे बल्ब बनाने में मदद मिली।

महर्षि अगस्त्य राजा दशरथ के राजगुरु थे। इनकी गणना सप्तर्षियों में की जाती है। महर्षि अगस्त्य को मं‍त्रदृष्टा ऋषि कहा जाता है, क्योंकि उन्होंने अपने तपस्या काल में उन मंत्रों की शक्ति को देखा था। ऋग्वेद के अनेक मंत्र इनके द्वारा दृष्ट हैं। महर्षि अगस्त्य ने ही ऋग्वेद के प्रथम मंडल के 165 सूक्त से 191 तक के सूक्तों को बताया था। साथ ही इनके पुत्र दृढ़च्युत तथा दृढ़च्युत के पुत्र इध्मवाह भी नवम मंडल के 25वें तथा 26वें सूक्त के द्रष्टा ऋषि हैं।

महर्षि अगस्त्य को पुलस्त्य ऋषि का पुत्र माना जाता है। उनके भाई का नाम विश्रवा था जो रावण के पिता थे। पुलस्त्य ऋषि ब्रह्मा के पुत्र थे। महर्षि अगस्त्य ने विदर्भ-नरेश की पुत्री लोपामुद्रा से विवाह किया, जो विद्वान और वेदज्ञ थीं। दक्षिण भारत में इसे मलयध्वज नाम के पांड्य राजा की पुत्री बताया जाता है। वहां इसका नाम कृष्णेक्षणा है। इनका इध्मवाहन नाम का पुत्र था।

अगस्त्य के बारे में कहा जाता है कि एक बार इन्होंने अपनी मंत्र शक्ति से समुद्र का समूचा जल पी लिया था, विंध्याचल पर्वत को झुका दिया था और मणिमती नगरी के इल्वल तथा वातापी नामक दुष्ट दैत्यों की शक्ति को नष्ट कर दिया था। अगस्त्य ऋषि के काल में राजा श्रुतर्वा, बृहदस्थ और त्रसदस्यु थे। इन्होंने अगस्त्य के साथ मिलकर दैत्यराज इल्वल को झुकाकर उससे अपने राज्य के लिए धन-संपत्ति मांग ली थी।

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सत्रे ह जाताविषिता नमोभि: कुंभे रेत: सिषिचतु: समानम्। ततो ह मान उदियाय मध्यात् ततो ज्ञातमृषिमाहुर्वसिष्ठम्॥ इस ऋचा के भाष्य में आचार्य सायण ने लिखा है- 'ततो वासतीवरात् कुंभात् मध्यात् अगस्त्यो शमीप्रमाण उदियाप प्रादुर्बभूव। तत एव कुंभाद्वसिष्ठमप्यृषिं जातमाहु:॥

अगले पन्ने पर क्या है 'अगस्त्य संहिता' में...

पानी में करंट कितनी दूर तक फैल सकता है?

पानी अगर साफ है तो 5 से 10 मीटर और गंदा है तो 20 से 30 मीटर तक करंट फैल सकता है। इसके अलावा पानी में साल्ट की मात्रा ज्यादा है तो करंट और भी ज्यादा इलाके में फैलता है।

पानी में करंट क्यों आता है?

जल में करंट क्यों लगती है? क्योंकि पानी एक अच्छा संवाहक है, इससे पहले कि आपके पास बचने का मौका हो, नमी आपके शरीर को स्थानांतरित करने के लिए इलेक्ट्रॉनों के लिए एक तरह का रास्ता प्रदान करती है। यह एक दर्दनाक झटके के बजाय स्थैतिक आवेश को छोटे, अवांछनीय झटके में बदलता है।