नदी अपरदन से क्या आशय है? - nadee aparadan se kya aashay hai?

नदी अपरदन से क्या आशय है? - nadee aparadan se kya aashay hai?

गेहूँ के एक खेत में अत्यधिक भूक्षरण का दृष्य

नदी अपरदन से क्या आशय है? - nadee aparadan se kya aashay hai?

अपरदन (Erosion) वह प्राकृतिक प्रक्रिया है, जिसमें चट्टानों का विखंडन और परिणामस्वरूप निकले ढीले पदार्थों का जल, पवन, इत्यादि प्रक्रमों द्वारा स्थानांतरण होता है। अपरदन के प्रक्रमों में वायु, जल तथा हिमनद और सागरीय लहरें प्रमुख हैं।[1]

परिचय[संपादित करें]

समुद्रतट पर लहरों और ज्वारभाटा की क्रिया के कारण पृथ्वी के भाग टूटकर समुद्र में विलीन होते जाते हैं। मिट्टी अथवा कोमल चट्टानों के अलावा कड़ी चट्टानों का भी इन क्रियाओं से धीरे धीरे अपक्षय होता रहता है। वर्षा और तुषार भी इस क्रिया में सहायक होते हैं। वर्षा के जल में घुली हुई गैसों की रासायनिक क्रिया के फलस्वरूप, कड़ी चट्टानों का अपक्षय होता है। ऐसा जल भूमि में घुसकर अधिक विलेय पदार्थों के कुछ अंश को भी घुला लेता है और इस प्रकार अलग्न हुए पदार्थों को बहा ले जाता है।

वर्षा, पिघली हुई ठोस बर्फ और तुषार निरंतर भूमि का क्षरण करते हैं। इस प्रकार टूटे हुए अंश नालों या छोटी नदियों से बड़ी नदियों में और इनसे समुद्र में पहुँचते रहते हैं।

नदियों का अथवा अन्य बहता हुआ जल किनारों तथा जल की भूमि को काटकर, मिट्टी को ऊँचे स्थानों से नीचे की ओर बहा ले जाता है। ऐसी मिट्टी बहुत बड़े परिणाम में समुद्र तक पहुँच जाती है और समुद्र पाटने का काम करती है। समुद्र में गिरनेवाले जल में मिट्टी के सिवाय विभिन्न प्रकार के घुले हुए लवण भी होते हैं।

शुष्क प्रांतों में, जहाँ वनस्पति से ढंकी नहीं होती, वायु अपार बालुकाराशि एक स्थान से दूसरे स्थान को ले जाती है। इस प्रकार सहारा मरुभूमि की रेत, एक ओर सागर पार सिसिली द्वीप तक और दूसरी ओर नाइजीरिया के समुद्र तट तक, पहुँच जाती है। वायु द्वारा उड़ाया हुआ बालू ढूहों अथवा ऊँची चट्टानों के कोमल भागों को काटकर उनकी आकृति में परिवर्तन कर देता है। जल में बहा हुआ पदार्थ सदा ऊँचे स्थान से नीचे को ही जाता है, किंतु वायु द्वारा उड़ाई हुई मिट्टी नीचे स्थान से ऊँचे स्थानों को भी जा सकती है।

गतिशील हिम जिन चट्टानों पर से होकर जाता है उनका क्षरण करता है और इस प्रकार मुक्त हुए पदार्थ को अपने साथ लिए जाता है। वायु तथा नदियों के कार्य की तुलना में, ध्रुव प्रदेश को छोड़कर पृथ्वी के अन्य भागों में, हिम की क्रिया अल्प होती है।

बाहरी कड़ियाँ[संपादित करें]

  • The Soil Erosion Site
  • International Erosion Control Association
  • International Soil Conservation Organization

सन्दर्भ[संपादित करें]

  1. "Erosion". Encyclopædia Britannica. 2015-12-03.

नमस्कार दोस्तों दिया क्या प्रश्न है अपरदन का क्या अर्थ है दो प्रकार की अपरदन शक्तियों का मानव जीवन में महत्व जो है वह बताइए तो बात करें अगर अपरदन के जो अपरदन का जो मतलब होता है वह क्या होता है कि जब पी क्या होता है लाइक आपके जो मिट्टी की ऊपरी करता है ना पृथ्वी के ऊपर सत्ता पर क्या पढ़ाई जाती है मृदा पाई जाती है तो यह मृदा के कटाव हटाओ के कारण क्या होता है मृदा की जो है रचना है उसमें क्या जाती है परिवर्तन हो जाता है ठीक है तुमने दांत की संरचना जो है उसमें परिवर्तन आ जाना ही जो होता है वह पतन का कारण कहलाता है जैसे कि आप इस चित्र को देख सकते हैं ना तो उपरोक्त चित्र में आप ही तो इसे देख रहे ठीक है कटे हुए जो इससे आप देख रहे हैं दोस्तों यह जो है वह अपरदन के कारण ही हुआ है क्योंकि आप यहां देख सकते कि इसके बगल से क्या बैरी है नदी बह रही है तो नदी के बहने के कारण क्या हुआ है कि जब भी कभी बाढ़ आई होगी या क्या हुआ होगा यहां पर दोस्तों कोई प्राकृतिक आपदा आई होगी जिसके कारण यह जो पहाड़ है इसकी जो आसपास की मिट्टी है उसमें क्या होने लगा है उसका कटाई छटाई और चरण होने लगा है जिसके कारण इसका जो स्वरूप है वह घटा करके

प्रकार से हो गया है यह तलहटी रूप में कुछ ना और आप देख सकते हैं कैसा हो चुका है नदी के किनारों के हिसाब से बन चुका है तू जहां पर आप देख सकते हैं इसे क्या कहा जाता है मृदा अपरदन कहा जाता है ना तो यह होती है मदर अपरदन और बात करी गई है दो प्रकार के अपरदन शक्तियों का मानव जीवन में महत्व है ना तो देखिए सबसे बेस्ट अगर आप उदाहरण देख सकते हैं किसका दोस्तों समय हमारे पास में जो मृदा अपरदन है ना सबसे पहला इसका सबसे अच्छा आप का उपयोग कहां करते हैं आप उपयोग करते हैं जहां पर आपको जल्द से क्या प्राप्त करनी होती है जल्द से विद्युत शक्ति आपको प्राप्त करनी होती है ना तो वहां पर जाकर जाता है जो नदियों का जल उसको बांध बना करके रुक दिखाता है और उसका जो शक्ति है उससे विद्युत शक्ति का उत्पादन किया जाता है तो वहां पर मृदा अपरदन का क्या होता है उपयोग किया जाता है इसी प्रकार से क्योंकि किसी भी आप अगर मानव सभ्यता के बारे में बात करें जितनी भी मारो सभ्यता का विकास हुआ है तुम्हारा सभ्यता का जो विकास करने के लिए नदियों को कहा गया है बहुत ही महत्वपूर्ण आप क्या सकते योगदान है ठीक है कि आप हड़प्पा की

कर लीजिए सिंधु घाटी सभ्यता की बात कर लीजिए तो यह क्या लगा जाते हैं यह मानवीय सब बताओ के जनक कहे जाते हैं तो इन मानवीय सभ्यता ओ मेरे दोस्तों हम कह सकते हैं कि नदियों के किनारे क्या हुआ है इनका उत्थान हुआ है लेकिन नदियों की कहानी क्या हुआ है वहां के आसपास की सभ्यताओं का विघटन भी हुआ है या आपका सकते हैं कि वहां पर बहन भी हुआ है क्योंकि नदियों में बाढ़ आने के कारण वहां पर क्या हुआ है कि उसके नदी के पूरे एक भूभाग जो है उसको क्या हो गया दोस्तों जो मानव सभ्यता उसको मिटाते हो चली की जगह सिंधु घाटी सभ्यता में नदी के कारण जो पूरी सभ्यता है वह कैसी होगी कि नष्ट हो चुकी थी और फिर नई सभ्यता का विकास हुआ तो इस प्रकार से मानवीय सभ्यता के लिए व्यापार दिन आवश्यक होता है जनों के अंदर पाई जाने वाली विद्युत शक्ति के लिए भी आवश्यक होता है उसी प्रकार समुद्र के किनारों पर क्या बनता तो तू जो डेल्टा का निर्माण होता है ना समुद्र के किनारे बनने वाले जो डेल्टा है उनका भी निर्माण किसके द्वारा होता है इन डेल्टा का निर्माण भी अपरदन के द्वारा ही होता है जबकि आपके यहां पर पृथ्वी पर ऋतु में परिवर्तन या आप कह दो तो चक्रवात आना जैसी घटनाएं भी जो है वह अपने

के कारण ही होती है यही हमारे प्रश्न का उत्तर हो जाएगा धन्यवाद