बुध ग्रह कैसे खराब होता है? - budh grah kaise kharaab hota hai?

वैदिक ज्योतिष में बुध ग्रह के शुभ या अशुभ प्रभाव जातक की कुंडली या जन्मपत्री की दशा, अन्तर्दशा या प्रत्यन्तर्दशा दशा के दौरान देखने को मिलते हैं, जबकि लाल किताब के अनुसार बुध के अशुभ होने की कुछ निशानियां होती हैं। मान्यता है कि जब बुध अपना अशुभ प्रभाव देने लगता है तो उसके पूर्व संकेत मिलने लगते हैं। आओ जानते हैं बुध के अशुभ होने के पूर्व संकेत को और जानते हैं नुकसान से बचने के तरीके को।

लाल किताब के अनुसार बुध के अशुभ होने के संकेत

1. गुप्त रोग हो सकता है।

2. नाखून और बाल कमजोर हो जाते हैं।

3. पाचन शक्ति कमजोर हो जाती है।

4. सूंघने की शक्ति क्षीण हो जाती है।

5. वक्त के पहले ही दांत कमजोर हो जाते हैं।

6. वाणी या वाक् क्षमता कमजोर पड़ जाती है। तुतलाहट रोग हो जाता है।

6. मित्रों से संबंध बिगड़ जाते हैं।

7. बहन, बुआ और मौसी पर विपत्ति आ जाती है या उनसे संबंध खराब हो जाते हैं।

8. नौकरी या व्यापार में नुकसान होता है।

9. यौन शक्ति भी क्षीण हो जाती।

10 व्यर्थ की बदनामी होती है।

11. हमेशा घूमते रहना, ज्यादातर पहाड़ी इलाकों में।

12. कोने का अकेला मकान जिसके आसपास किसी का मकान न हो तो भी बुध खराब की निशानी है।

वैदिक ज्योतिष के अनुसार चन्द्र के अशुभ होने के पूर्व संकेत

1. जातक विवेक खो देता है। उसमें अच्छे-बुरे का निर्णय करने की क्षमता नहीं रहती।

2. सिर के बाल कम होने लगते हैं अर्थात् व्यक्ति गंजा होने लगता है।

3. व्यक्ति वादे का पक्का नहीं रह पाता है।

4. सूंघने की शक्ति कम हो जाती है।

5. मन में काम भावना कम हो जाती है।

6. त्वचा संबंधी रोग उत्पन्न हो जाता है।

Budh Dev Worship

कैसे होता बुध खराब?

* गणेश और दुर्गा माता का अपमान करना।

* बहन, बुआ और मौसी से संबंध खराब करना।

* बेइमानी करना, धोखा देना।

* ढोंगी संतों के चक्कर काटना।

* झूठे देवी-देवताओं की पूजा करना

* रात्रि के क्रियाकांड करना।

* तम्बाकू, शराब का सेवन करना।

* केतु और मंगल के साथ मंदा फल।

* शत्रु ग्रहों से ग्रसित बुध का फल मंदा ही रहता है।

बुध को शुभ करने के उपाय

1. गणेश और मां दुर्गा की उपासना करें।

2. नाक छिदवाएं।

3. बेटी, बहन, बुआ और साली से अच्छे संबंध रखें।

4. बुधवार के दिन गाय को हरा चारा खिलाना।

5. साबुत हरे मूंग का दान करना।

6. कभी भी झूठ न बोलें।

7. गाय को प्रतिदिन रोटी खिलाएं।

8. काले कुत्ते को इमरती खिलाएं।

9. तांबे की प्लेट में छेद करके बहते पानी में बहाएं।

10. अपने भोजन में से एक हिस्सा गाय को, एक हिस्सा कुत्तों को और एक हिस्सा कौवे को दें।

11. अपने हाथ से गाय को हरा चारा, हरा साग खिलाएं।

12. उड़द की दाल का सेवन करें व दान करें।

13. बालिकाओं को भोजन कराएं।

14. किन्नरों को हरी साड़ी, सुहाग सामग्री दान देने से लाभ मिलेगा।

15. 'ॐ बुं बुद्धाय नमः' का 108 बार नित्य जाप करें अथवा गणेश अथर्वशीर्ष का पाठ करें।

16. पन्ना धारण करें।

नोट : इनमें से कुछ उपाय विपरीत फल देने वाले भी हो सकते हैं। कुंडली की पूरी जांच किए बगैर उपाय नहीं करना चाहिए। किसी लाल किताब के विशेषज्ञ को कुंडली दिखाकर ही ये उपाय करें।

सूर्य के सबसे निकटतम ग्रह है बुध। वैज्ञानिकों का मत है कि आकाश मंडल में असंख्य तारों व ग्रहों की तरह ही बुध भी एक ग्रह है, जो सूर्य के अति निकट है और इसकी स्थिति ईशान कोण में बताई जाती है।
लाल किताब के अनुसार कुंडली में बुध के दोषपूर्ण या खराब होने की स्थिति के बारे में विस्तार से बताया गया है। यहां जानिए संक्षिप्त जानकारी।

कैसे होता बुध खराब? :

* गणेश और दुर्गा माता का अपमान करना।
* बहन, बुआ और मौसी से संबंध खराब करना।
* बेइमानी करना, धोखा देना।
* ढोंगी संतों के चक्कर काटना।
* झूठे देवी-देवताओं की पूजा करना
* रात्रि के क्रियाकांड करना।
* तम्बाकू, शराब का सेवन करना।
* केतु और मंगल के साथ मंदा फल।
* शत्रु ग्रहों से ग्रसित बुध का फल मंदा ही रहता है।

शुभ :

बहन, मौसी और बुआ की स्थिति ठीक रहती है। सुंदर देह वाला ऐसा व्यक्ति ज्ञानी और चतुर होता है। सोच-समझकर बोलता है। उसकी बातों का असर होता है। ईमानदारी छोड़ दे, तो शुभ प्रभाव छोड़ देता है। सूंघने की शक्ति गजब की होती है। व्यापार और नौकरी में किसी भी प्रकार की अड़चन नहीं आती है।

कैसे पहचानें कि बुध खराब है, अगले पन्ने पर...

ग्रहों में बुध ग्रह का महत्व बड़ा ही व्यापक है. ज्योतिष के जानकारों की अगर मानें तो बुध ग्रह के कमजोर होने से इंसान की जिंदगी में कई सारी समस्याएं आ जाती हैं लेकिन अगर कुंडली में बुध बलवान हो तो इंसान को कई सारी खुशियों की सौगात मिल जाती है. तो आखिर बुध हमारे जीवन को किस तरह प्रभावित करता है. आइए जानते हैं...

बुध कहने को एक छोटा सा ग्रह है लेकिन ज्योतिष शास्त्र में बुध एक महत्वपूर्ण ग्रह के तौर पर गिना और देखा जाता है.

इसे देवताओं का राजकुमार भी कहते हैं. ज्योतिष में कहा गया है बुध सही तो सब शुद्ध यानि सबकुछ सही रहता है लेकिन अगर यही बुध अगर बिगड़ गया, नीच का हो गया या फिर उसने नजर फेर ली तो खुशियां बिगड़ जाती हैं.

बुध के अशुद्ध होने का असर

-तो इंसान की जिंदगी में मुसीबतों का पहाड़ टूट पड़ता है.

-इंसान बीमारियों के चंगुल में फंस जाता है. शरीर की आभा खत्म होने लगती है.

-कर्ज से परेशान रहने लगता है और आर्थिक तौर पर बुरी तरह प्रभावित रहता है.

-बुध खराब होने पर पद प्रतिष्ठा, मान सम्मान, यश बल सबसे गिरावट आने लगती है.

-इंसान शिक्षा में कमजोर हो जाता है, सूंघने की शक्ति घट जाती है, अपनी बातों के जरिए प्रभावशाली नहीं बन पाता है.

-बुद्धिवान होने के अंहकार से ग्रसित हो जाता है

इसीलिए कहा जाता है ग्रह कोई भी हो, छोटा हो बड़ा हो. उसका प्रभाव किसी भी दूसरे ग्रह से कमतर नहीं आंका जा सकता है. लेकिन अगर बुध सही हो तो जीवन में खुशियों की रौशनी फैली रहती है. दुखों का अंधकार दूर रहता है, मन प्रसन्न रहता है और जीवन में शांति बनी रहती है.

बुध के शुद्ध होने का प्रभाव

बुद्ध के शुद्ध होने से व्यक्ति सौंदर्यवान हो जाता है. उसकी आभा अनुपम हो जाती है, व्यक्ति अच्छा वक्ता होता है जिसकी बातों को लोग ध्यान से सुनना पसंद करते हैं, आमतौर पर कुंडली में बुध की स्थिति ही तय करती है कि इंसान कैसा बोलता है और कैसा व्यवहार करता है या फिर उसकी बुद्धि और व्यक्तित्व कैसा है.

बुध ग्रह से बलवान व्यक्ति अगर व्यापार करता है तो उसे खूब सफलता मिलती है. खासकर शेयर बाजार या रुपये से संबंधित कारोबार में विशेष लाभ मिलता है.

बुध आपके पक्ष में रहे तो आपको मालामाल कर देगा. आपको यश बल कीर्ति से आकाश की अनंत ऊंचाइयों तक पहुंचा देगा और अगर उसने नजर फेर ली तो आपको पाई पाई का मोहताज कर सकता है. ऐसे में हर इंसान यही चाहेगा कि उसका बुध हमेशा शुद्ध रहे. उस पर अपनी अच्छी नजर बनाए रखें. लेकिन कैसे आखिर क्या करें कि बुद्ध की शुद्ध दृष्टि ही हम पर पड़े या अगर बुध कमजोर हो तो फिर उसे कैसे मजबूत करके जीवन को संवारा जा सकता है. हर राशि के मुताबिक, हम आपको बताएंगे कि अगर बुध कमजोर हो तो किस राशि पर क्या असर पड़ सकता है और कैसे उस राशि पर बुध के कमजोर असर को कम करके जीवन को सुखमय बनाया जा सकता है.

कुंडली में बुध अगर कमजोर हो तो समस्याएं व्यापक हो जाती हैं. बुध के कमजोर होने से बुद्धि भ्रष्ट हो जाती है और वाणी में दोष आ जाता है. साथ ही बुध के कमजोर होने से इंसान की सुंदरता भी प्रभावित होती है लेकिन बुध के कमजोर होने से किन राशि पर क्या खास असर पड़ता है. चलिए अब आपको ये भी बता देते हैं...

चलिए अब आपको बताते हैं कि बुध ग्रह अगर कमजोर हो तो किस राशि पर क्या असर डालता है और उससे कैसे बचा जा सकता है, उसका असर कैसे कम किया जा सकता है...

मेष राशि: नौकरी में खूब समस्या आती है, नौकरी छूटने का भी डर रहता है, जीवन कर्जों और बीमारियों में घिर जाता है.

वृष राशि: बुध का खासा महत्व है. बिना अच्छे बुध के बिना जीवन सुखमय नहीं हो सकता.

मिथुन राशि: जीवन में संघर्ष बढ़ जाता है, नौकरी में परेशानियां हो सकती हैं.

कर्क राशि: स्वास्थ्य पर बुरा असर डालता है और यात्रा पर भी बुरा असर पड़ता है. चरित्र और बुद्धि बदल जाती है. जीवन में अपयश के योग बढ़ जाते हैं.

सिंह राशि: मजबूत बुध के बिना धन का योग नहीं है. एक-एक पैसे के लिए तरसना पड़ता है.

कन्या राशि: स्वास्थ्य पर बुरा असर डालता है और धन घटने लगता है. सौंदर्य घटने लगता है. करियर में बाधा उत्पन्न होने लगती है.

तुला राशि: भाग्य साथ नहीं देता है और मन चंचल हो जाता है. चरित्र कमजोर हो जाता है.

वृश्चिक राशि: योग्यता के बावजूद उपलब्धि नहीं मिलती. त्वचा या वाणी से संबधित विकार हो सकता है.

धनु राशि: शादी में परेशानी या शादी नहीं होगी, वैवाहिक जीवन में समस्याएं पैदा होने लगती हैं.

मकर राशि: इंसान कर्ज में डूब जाता है और नौकरी में बाधा आती है. भाग्य साथ नहीं देता है.

कुंभ राशि: बुद्धि की समस्या परेशान करती है. संतान पक्ष से समस्या के योग बन जाते हैं.

मीन राशि: जीवन में किसी भी प्रकार का सुख नहीं मिलता. वैवाहिक जीवन बरबाद हो जाता है. संपत्ति का नुकसान हो जाता है.

बुध ग्रह से कौन कौन से रोग होते हैं?

ग्रहों के राजकुमार बुध का संबंध व्‍यक्ति की रोग प्रतिरोधक क्षमता से होता है। बुध के दोष से ही नाक, कान और गले की बीमारियां हो जाती है। सर्दी, जुकाम और बुखार भी बुध के दोष के कारण होता है।

बुध ग्रह खराब होने के क्या लक्षण है?

* शत्रु ग्रहों से ग्रसित बुध का फल मंदा ही रहता है।.
गुप्त रोग हो सकता है।.
नाखून और बाल कमजोर हो जाते हैं।.
पाचन शक्ति कमजोर हो जाती है।.
सूंघने की शक्ति क्षीण हो जाती है।.
वक्त के पहले ही दांत कमजोर हो जाते हैं।.
वाणी या वाक् क्षमता कमजोर पड़ जाती है। तुतलाहट रोग हो जाता है।.

बुध खराब हो तो क्या होता है?

कुंडली में बुध की स्थिति खराब हो त्वचा संबंधी विकार, शिक्षा में एकाग्रता की कमी और लेखन कार्य में समस्या आती है. वहीं बुध के शुभ प्रभाव से बुद्धि तेज होती है साथ ही व्यापार, संचार और शिक्षा में उन्नति मिलती है. अगर आपकी भी कुंडली में बुध कमजोर है तो आपको इस ग्रह की शांति के लिए विशेष उपाय (Astrology Tips) करने चाहिए.

बुध कमजोर होने पर क्या करें?

कैसे करें बुध ग्रह को मजबूत -जिन जातकों की कुंडली में बुध ग्रह कमजोर होता है, उन्हें बुधवार के दिन व्रत रखना चाहिए. इसके अलावा भगवान विष्णु की भी पूजा करना चाहिए. -बुधवार के दिन हरे या लाल रंग के कपड़े पहनना चाहिए. इस दिन बिना नमक वाला मूंग से बना खाद्य पदार्थ का सेवन करना चाहिए.

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