.पत्र लेखन की कला के विकास के लिए क्या क्या प्रयास हुए लिखिए? - .patr lekhan kee kala ke vikaas ke lie kya kya prayaas hue likhie?

 NCERT SOLUTIONS FOR CLASS 8 HINDI CHAPTER 5 CHITHTHIYON KI ANUTHI DUNIYA

An experienced teacher from SWC is responsible for preparing the NCERT SOLUTIONS FOR CLASS 8 HINDI CHAPTER 5 CHITHTHIYON KI ANUTHI DUNIYA. The NCERT textbook for class 8 Hindi is divided into 18 chapters, and each of those chapters has exactly one activity. The academic staff at SWC has developed and posted on this website error-free answers to all of the questions that are given in the NCERT textbook. A significant number of educators recognize and value the contribution that SWC NCERT answers provide to their classrooms.

The substance and store write-up of the eighth grade Hindi topic make it an intriguing subject to study. If you want to have a strong comprehension of Hindi for class 8, you need less time. It has been noted that students only get around to solving the Hindi problems at the end of these academic years; hence, these pupils demand a reliable NCERT answer for class 8 Hindi.

NCERT SOLUTIONS FOR CLASS 8 HINDI CHAPTER 5 – चिट्ठियों की अनूठी दुनिया

1. पत्र जैसा संतोष फोन या एसएमएस का संदेश क्यों नहीं दे सकता?

उत्तर:- पत्र जैसा संतोष फोन या एसएमएस का संदेश नहीं दे सकता क्योंकि फोन, एसएमएस द्वारा केवल कामकाजी बातों को संक्षिप्त रूप से व्यक्त कर सकते हैं। पत्रों द्वारा हम अपने मनोभावों को खुलकर व्यक्त कर सकते हैं। पत्रों से आत्मीयता झलकती है। इन्हें अनुसंधान का विषय भी बनाया जा सकता है। ये कई किताबों का आधार हैं। पत्र राजनीति,साहित्य तथा कला क्षेत्र में प्रगतिशील आंदोलन के कारण बन सकते हैं। यह क्षमता फोन या एसएमएस द्वारा दिए गए संदेश में नहीं।

2. पत्र को खत, कागद, उत्तरम्‌, जाबू, लेख, कडिद, पाती, चिट्ठी इत्यादि कहा जाता है। इन शब्दों से संबंधित भाषाओं के नाम बताइए।

उत्तर:-

1. खत – उर्दू

2. कागद – कन्नड़

3. उत्तरम्‌ – तेलूगु

4. जाबू – तेलूगु

5. लेख – तेलूगु

6. कडिद – तमिल

7. पाती – हिन्दी

8. चिट्ठी – हिन्दी

9. पत्र – संस्कृत

3. पत्र लेखन की कला के विकास के लिए क्या-क्या प्रयास हुए? लिखिए।

उत्तर:- पत्र लेखन की कला को विकसित करने के लिए दुनिया के सभी देशों द्वारा पाठयक्रमों में पत्र लेखन का विषय शामिल किया गया। विश्व डाक संघ की ओर से 16 वर्ष से कम आयुवर्ग के बच्चों के लिए पत्र लेखन प्रतियोगिताएँ आयोजित करने का कार्यक्रम सन्‌ 1972 से शुरू किया गया।

4. पत्र धरोहर हो सकते हैं लेकिन एसएमएस क्यों नहीं? तर्क सहित अपना विचार लिखिए।

उत्तर:- पत्र व्यक्ति की स्वयं की हस्तलिपि में होते हैं, जो कि प्रियजन को अधिक संवेदित करते हैं। हम जितने चाहे उतने पत्रों को धरोहर के रूप में समेट कर रख सकते हैं जबकि एसएमएस को मोबाइल में सहेज कर रखने की क्षमता ज़्यादा समय तक नहीं होती है। एसएमएस को जल्द ही भुला दिया जाता है। पत्र देश, काल, समाज को जानने का साधन रहा है। दुनिया के तमाम संग्रहालयों में जानी-मानी हस्तियों के पत्रों का अनूठा संकलन भी है।

5. क्या चिट्ठियों की जगह कभी फैक्स, ई-मेल, टेलीफोन तथा मोबाइल ले सकते हैं?

उत्तर:- पत्रों का चलन न कभी कम हुआ था, न कभी कम होगा। चिट्ठियों की जगह कोई नहीं ले सकता है। पत्र लेखन एक साहित्यिक कला है परन्तु फेक्स, ई-मेल, टेलीफोन तथा मोबाइल जैसे तकनीकी माध्यम केवल काम-काज के क्षेत्र में महत्वपूर्ण हैं। आज ये आवश्यकताओं में आते हैं फिर भी ये पत्र का स्थान नहीं ले सकते हैं।

6. किसी के लिए बिना टिकट सादे लिफ़ाफ़े पर सही पता लिखकर पत्र बैरंग भेजने पर कौन-सी कठिनाई आ सकती है? पता कीजिए।

उत्तर:- बिना टिकट सादे लिफ़ाफ़े पर सही पता लिखकर पत्र बैरंग भेजने पर पत्र को पाने वाले व्यक्ति को टिकट की धनराशि जुर्माने के रूप में देनी होगी।

7. पिन कोड भी संख्याओं में लिखा गया एक पता है, कैसे?

उत्तर:- पिन कोड किसी खास क्षेत्र को संबोधित करता है कि यह पत्र किस राज्य के किस क्षेत्र का है। इसके साथ व्यक्ति का नाम और नंबर आदि भी लिखना पड़ता है।

पिन कोड का पूरा रूप है पोस्टल इंडेक्स नंबर। यह 6 अंको का होता है। हर एक का खास स्थानीय अर्थ होता है, जैसे – १ अंक राज्य, २ और ३ अंक उपक्षेत्र, अन्य अंक क्रमशः डाकघर आदि के होते है। इस प्रकार पिन कोड भी संख्याओं में लिखा गया एक पता है।

8. ऐसा क्यों होता था कि महात्मा गांधी को दुनिया भर से पत्र ‘महात्मा गांधी-इंडिया’ पता लिखकर आते थे?

उत्तर:- महात्मा गांधी को दुनिया भर से पत्र ‘महात्मा गांधी-इंडिया’ पता लिखकर आते थे क्योंकि महात्मा गांधी अपने समय के सर्वाधिक लोकप्रिय व प्रसिद्ध व्यक्ति थे। वे भारत गौरव थे। गाँधी जी देश के किस भाग में रह रहे हैं यह देशवासियो को पता रहता था। अत: उनको पत्र अवश्य मिल जाता था।

9. भाषा की बात

किसी प्रयोजन विशेष से संबंधित शब्दों के साथ पत्र शब्द जोड़ने से कुछ नए शब्द बनते हैं, जैसे – प्रशस्ति पत्र, समाचार पत्र। आप भी पत्र के योग से बननेवाले दस शब्द लिखिए।

उत्तर:-

(i) साहित्यिक पत्र

(ii) मासिक पत्र

(ii) छः मासिक पत्र

(iv) वार्षिक पत्र

(v) दैनिक पत्र

(vi) साप्ताहिक पत्र

(vii) पाक्षिक पत्र

(viii) प्रेम पत्र

(ix) सरकारी पत्र

(x) प्रार्थना पत्र

(xi) त्याग पत्र

(xii) नियुक्ति पत्र

(xiii) मान पत्र

(xiv) बधाई पत्र

(xiv) संधि पत्र

(xvi) निमंत्रण पत्र

10. ‘व्यापारिक’ शब्द व्यापार के साथ ‘इक’ प्रत्यय के योग से बना है। इक प्रत्यय के योग से बनने वाले शब्दों को अपनी पाठ्यपुस्तक से खोजकर लिखिए।

उत्तर:-

इक प्रत्यय के योग से बनने वाले शब्द –

1. स्वाभाविक

2. साहित्यिक

3. व्यवसायिक

4. दैनिक

5. प्राकृतिक

6. जैविक

7. प्रारंभिक

8. पौराणिक

9. ऐतिहासिक

10.सांस्कृतिक

11. दो स्वरों के मेल से होने वाले परिवर्तन को स्वर संधि कहते हैं;जैसे – रवीन्द्र = रवि + इन्द्र। इस संधि में इ + इ = ई हुई है। इसे दीर्घ संधि कहते हैं। दीर्घ स्वर संधि के और उदाहरण खोजकर लिखिए। मुख्य रूप से स्वर संधियाँ चार प्रकार की मानी गई हैं – दीर्घ, गुण, वृद्धि और यण।

ह्रस्व या दीर्घ अ, इ, उ के बाद ह्रस्व या दीर्घ अ, इ, उ, आ आए तो ये आपस में मिलकर क्रमशः दीर्घ आ, ई, ऊ हो जाते हैं, इसी कारण इस संधि को दीर्घ संधि कहते हैं;जैसे – संग्रह + आलय = संग्रहालय, महा + आत्मा = महात्मा।

इस प्रकार के कम-से-कम दस उदाहरण खोजकर लिखिए और अपनी शिक्षिका/शिक्षक को दिखाइए।

उत्तर:-

1. गुरूपदेश = गुरू + उपदेश (उ + उ)

2. संग्रहालय = संग्रह + आलय (अ + आ)

3. हिमालय = हिम + आलय (अ + आ)

4. भोजनालय = भोजन + आलय (अ + आ)

5. स्वेच्छा= सु + इच्छा( उ + इ)

6. अनुमति = अनु + मति (उ + अ)

7. रवीन्द्र = रवि + इंद्र (इ + इ)

8. विद्यालय = विद्या + आलय (आ + आ)

9. सूर्य + उदय = सूर्योदय (अ + उ)

10. सदा + एव = सदैव (आ + ए)

Summary of NCERT SOLUTIONS FOR CLASS 8 HINDI CHAPTER 5 CHITHTHIYON KI ANUTHI DUNIYA

The academic team at SWC has worked diligently to compile NCERT Solutions for class 8 Hindi chapter-5. Every question from chapter one has been answered and explained in detail by the academic staff of Swastik Classes in accordance with the guidelines provided by CBSE. After reading the theory presented in chapter 5, make an effort to comprehend its meaning. Subsequently, begin writing answers to the problems presented in the NCERT textbook for class 8’s chapter 5 and consult the NCERT solutions for class 8’s Hindi course.

पत्र लेखन की कला के विकास के लिए क्या क्या विकास हुए?

पत्र लेखन की कला को विकसित करने के लिए स्कूली पाठयक्रमों में पत्र लेखन का विषय भी शामिल किया गया। केवल भारत में ही नहीं बल्कि विश्व के अन्य कई देशों में भी प्रयास किए गए। विश्व डाक संघ की ओर से 16 वर्ष से कम आयुवर्ग के बच्चों के लिए पत्र लेखन प्रतियोगिताएँ आयोजित करने का कार्यक्रम सन्‌ 1972 से शुरू किया गया।

पत्र लेखन की कला के विकास के लिए क्या क्या प्रयास हुए हैं चिट्ठियों की अनूठी दुनिया पाठ के आधार पर लिखिएI?

पत्र-लेखन के विकास हेतु स्कूली पाठ्यक्रम में पत्र लेखन विषय के रूप में शामिल किया गया है। विश्व डाक संघ ने 16 वर्ष से कम आयु के बच्चों के लिए पत्र लेखन प्रतियोगिताओं का भी आयोजन किया है ताकि बच्चों की रुचि पत्र-व्यवहार में बनी रहे। रामधारी सिंह 'दिनकर' की कविता 'भगवान के डाकिए' आपकी पाठ्यपुस्तक में है।

पत्र लेखन की कला को विकसित करने के लिए सरकार ने क्या क्या प्रयास किये?

कला और संस्कृति.
वाणिज्य.
संचार और आईटी.
वन एवं पर्यावरण.
वित्त और कर.
खाद्य और सार्वजनिक वितरण.

पत्र लेखन कला का विकास कब हुआ?

सन 1972 से विश्व डाक संघ की ओर से 16 वर्ष से कम आयु के बच्चों के लिए पत्र लेखन प्रतियोगिताएं आयोजित करने का सिलसिला शुरू किया गया। गांवों में आज भी पत्रों का खूब प्रचलन है लेकिन महानगरों में संचार साधनों के अत्यधिक विकास के कारण पत्रों की आवाजाही प्रभावित हुई है।