पेट में मांसपेशियों में खिंचाव क्या है? - pet mein maansapeshiyon mein khinchaav kya hai?

सशक्त मांसपेशियों वाला शरीर उत्तम स्वास्थ्य का प्रतीक हैं, पतली कमर के उत्सुक लोग अपनी पसंद के परिधान पहन सकते हैं। जो अपने पेट की मांसपेशियों को सतुलित करना चाहते हैं,सशक्त बनाना चाहते हैं, योग उन लोगों के लिए महानवरदान हैं। जिम का अपना अलग प्रभाव हैं जबकि योग शरीर एवं मन दोनों को तरोताजा करता हैं, शरीर का चयापचय सुधारता हैं,पेट की मांसपेशियों को संतुलित कर लक्ष्य के समीप पहुँचाता हैं।

यदि आप कुछ घंटे श्री श्री योग सीख लेते हैंऔर शरीर का वजन कम करने वाले योगासन का नियमित अभ्यास करते हैं तो आप अति शीघ्र लक्ष्य तक पहुँच जाते हैं।

पेट की मांसपेशियों के लिए योगासन

यहाँ कुछ योगासन एवं प्राणायाम की सूची है जिनसे आप पेट की चरबी कम करने की यात्रा प्रारम्भ कर सकते हैं:

  1. कपालभाति | Kapal Bhati
  2. विपरित शलभासन | Viparita Shalabhasana
  3. भुजंगासन | Bhujangasana
  4. पश्चिमोत्तानासन | Paschimottanasana
  5. हस्तपादासन | Hastapadasana
  6. तोलासन | Tolasana
  7. मालासन | Malasana
  8. सेतुबंधासन | Setu Bandha Sarvangasana

पेट में मांसपेशियों में खिंचाव क्या है? - pet mein maansapeshiyon mein khinchaav kya hai?

एक प्राणायाम जो पेट की मांसपेशियों को सन्तुलित रखता हैं। मस्तक में तेज उत्पन्न करने वाला प्राणायाम चयापचय दर में सुधार लाता हैं,पाचन तंत्र की क्रिया सुधारता हैं और इस प्रकार आपका वजन निश्चित रूपसे कम करता है। अपने योगासन का प्रारम्भ इस प्राणायाम से करें।

पेट में मांसपेशियों में खिंचाव क्या है? - pet mein maansapeshiyon mein khinchaav kya hai?

यह आपके पैर,कंधे और कमर को शक्ति प्रदान करता हैं। पेट को संतुलित करता हैं।रुधिर परिसंचरण तंत्र सुधारता है l

पेट में मांसपेशियों में खिंचाव क्या है? - pet mein maansapeshiyon mein khinchaav kya hai?

यह आपके पैर,कंधे और कमर को शक्ति प्रदान करता हैं। पेट को संतुलित करता हैं। रुधिर परिसंचरण तंत्र सुधारता है।

पेट में मांसपेशियों में खिंचाव क्या है? - pet mein maansapeshiyon mein khinchaav kya hai?

यह आसन कमर,पेट,नितम्ब एवं पेट के अंगो, घुटने के पीछे की नसों को आराम देता हैं।

पेट में मांसपेशियों में खिंचाव क्या है? - pet mein maansapeshiyon mein khinchaav kya hai?

इस आसन से पीठ की सभी मांसपेशियां संतुलित होती हैं। यह आसन पेट के अंगों को संतुलित करता हैं तथा तंत्रिकातंत्र तक रुधिर परिसंचरण सुधारता है।

पेट में मांसपेशियों में खिंचाव क्या है? - pet mein maansapeshiyon mein khinchaav kya hai?

यह आपके कंधे,वक्ष,पेट तथा श्रोणि को शक्ति प्रदान करता हैं। यह शरीर को तनाव मुक्त करता हैं।

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तोलासन

यह पद्मासन का एक प्रकार हैं,यह हाथ एवं पेट को शक्ति प्रदान करता है।

यह पेट को संतुलित करता है।

यह पाचन तंत्र को सुधारता है।

अपने योगासन का अंत कुछ मिनट शवासन करके करना चाहिए। यह पूरे शरीर को तनाव मुक्त करता है। ऊतकों एवंकोशिकाओं की मरम्मत करता है और शरीर को पुनर्जीवन देता है।

नियमित योगाभ्यास स्वस्थ शरीर एवं शांत मन के लिए बहुत आवश्यक है। यह पूरे शरीर को संतुलित कर शरीर कानिर्माण करता है। यदि आप योगाभ्यास में अनियमित हैं तो पुनः शरीर का वजन बढ़ना एक धीमी प्रक्रिया है ।जैसे जिम जाना बंद होने पर शरीर का वजन बढ़ता हैं।

जिन्होंने पहले ही बेसिक योगाभ्यास प्रारम्भ कर दिया है वह एडवान्स योग श्रीश्री योग लेवल 2प्रोग्राम से शरीर को औरसंतुलित कर सकते हैं।योगाभ्यास शरीर और मन को विकसित कर स्वास्थ्य का लाभ देता है। यद्यपि यह दवा का विकल्प नहीं है।

क्या आप सभी योगासनों के बारे में जानना चाहते है? योगासनों की सूची एवं जानकारी हेतु

योगाभ्यास शरीर और मन को विकसित कर स्वास्थ्य का लाभ देता है। यद्यपि यह दवा का विकल्प नहीं है। यह महत्वपूर्ण है कि योगाभ्यास श्री श्री योग शिक्षकके निर्देशन में करें । चिकित्सीय स्थिति होने पर चिकित्सक की सलाह लेकर तथा योग शिक्षक के निर्देश में ही योग करें ।

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जीवन को सही तरह से जीने के लिए जरूरी है कि हमारा स्वास्थ्य ठीक रहे। लेकिन आजकल लोगों को स्वास्थ्य से संबंधित बहुत-सी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। ऐसी ही परेशानियों में मांसपेशियों में दर्द की समस्या भी है। क्या है ये समस्या और इससे बचाव के उपाय, जानें- 

मांसपेशियों में खिंचाव तब होता है, जब वे बहुत ज्यादा तनाव का सामना करती हैं। ऐसा आमतौर पर अधिक परिश्रम, मांसपेशियों का अधिक प्रयोग या मांसपेशियों के अनुचित उपयोग के परिणामस्वरूप होता है। खिंचाव किसी भी मांसपेशी में हो सकता है, लेकिन आमतौर पर यह निचली पीठ, गर्दन, कंधे और हैमस्ट्रिंग में सबसे सामान्य है। हैमस्ट्रिंग जांघ के पीछे की मांसपेशी (घुटने के पीछे की पांच नसों में एक नस) होती है। 

अकसर होने वाले दर्द 
जांघ की मांसपेशियों में दर्द : आपकी जांघ आपके कूल्हे और घुटने के बीच आपके ऊपरी पैर का क्षेत्र है। आपकी क्वाड्रिसेप्स की मांसपेशियां जांघ के सामने रहती हैं और आपके कूल्हे को ऊपर की ओर झुकाती हैं और आपके घुटने को सीधा करती हैं। आपकी हैमस्ट्रिंग पीठ में हैं। ये मांसपेशियां आपके घुटने को मोड़ने में मदद करती हैं। आपकी जांघ के अंदरूनी हिस्से पर ग्रोइन की मांसपेशियां आपके पैर को अंदर खींचती हैं, जबकि आपकी कूल्हे की मांसपेशियां आपकी जांघ को बाहर की तरफ खींचती हैं। कई नसें आपकी जांघों के नीचे जाती हैं। जांघ का दर्द एक आम समस्या है, जिसे काफी लोग अनुभव करते हैं। यह अचानक या धीरे-धीरे आ सकता है। इससे आपको चलने, दौड़ने या सीढ़ियां चढ़ने जैसी सामान्य कार्यात्मक गतिशीलता में कठिनाई हो सकती है। कभी-कभी आघात या चोट के बाद जांघ में दर्द हो सकता है, जिसका कई बार कोई स्पष्ट कारण नहीं होता।

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पेट की मांसपेशियों में दर्द : एब्डोमिनल पेन यानी पेट की मांशपेशियों में होने वाले दर्द को नजरअंदाज करना घातक साबित हो सकता है। कई लोगों को पेट के दर्द में बेचैनी या सूजन की शिकायत होती है। उदर की मांसपेशियों में अकसर दर्द रहना बोवेल कैंसर के लक्षण भी हो सकते हैं। विशेषज्ञों का मानना है कि अगर शरीर के इस हिस्से में चार हफ्तों से ज्यादा तक दर्द की शिकायत हो, तो चिकित्सकों की सलाह जरूरी है।

कमर की मांसपेशियों में दर्द : यह दर्द बहुत आम है और आमतौर पर कुछ हफ्तों या महीनों में ठीक हो जाता है। मांसपेशी में दर्द आमतौर पर दर्दनाक लगता है। ऐसे लोग पीठ में तनाव या कठोरता महसूस कर सकते हैं। कमर दर्द कई कारणों से हो सकता है, जिसमें अचानक असामान्य गतिविधि या गिरावट, चोट या चिकित्सा की स्थिति शामिल है। दर्द आमतौर पर हड्डियों, डिस्क, नसों, मांसपेशियों और अस्थिबंधकों द्वारा की गई गतिविधियों की विधि पर निर्भर करता है। 

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कहीं ये बीमारियों का संकेत तो नहीं

डायबिटीज
शरीर में इंसुलिन का संतुलन बिगड़ने से डायबिटीज की आशंका हो सकती है। इसमें मसल्स पेन भी होने लगता है।

फ्लू
फ्लू के कारण शरीर का ब्लड सर्कुलेशन बिगड़ जाता है। ऐसे में मसल्स पेन होने लगता है।

मलेरिया
शरीर में मलेरिया का वायरस आने से मसल्स में खिंचाव होने लगता है। इससे मसल्स पेन भी होने लगता है।

आथ्र्राइटिस
आथ्र्राइटिस की समस्या होने से शरीर का ब्लड सर्कुलेशन बिगड़ जाता है। इससे मांसपेशियों में दर्द होने लगता है।

दर्द के लक्षण 
इन लक्षणों पर ध्यान दें-

- मांसपेशियों में अचानक दर्द की शुरुआत होना।
- मांसपेशियों में सूजन या लालिमा आना।
- आराम करने पर दर्द महसूस होना।
- पीड़ा या कष्ट होना।
- गतिविधियों में कमी या काम करने में असक्षमता महसूस होना।
- मांसपेशियों में ऐंठन महसूस होना।
- दुर्बलता महसूस करना।

क्या हैं इलाज
मांसपेशियों का दर्द दवाओं, फिजियोथेरेपी, इंजेक्शन, ज्वाइंट रिप्लेसमेंट, एक्यूपंक्चर, एक्यूप्रेशर से ठीक हो सकता है। लेकिन जिस तरह का दर्द होता है, डॉक्टर उसी के अनुसार इलाज की सलाह देते हैं। कई बार दर्द सिर्फ फिजिकल एक्सरसाइज या कम समय के लिए दवाएं लेकर भी ठीक हो सकता है। दर्द फिर भी बना रहे, तो शुरुआती अवस्था पर ही डॉक्टर से इलाज लेना शुरू कर देना चाहिए। 

ये सावधानी बरतें
-  दैनिक कार्यों के दौरान खिंचाव और चोट से बचें।
-  एक स्थिति में बहुत लंबे समय तक बैठने की कोशिश न करें।
-  पीठ की मांसपेशियों पर तनाव को कम करने के लिए खड़े होते और बैठते समय अच्छी मुद्रा बनाएं।
-  वस्तुओं को उठाते समय पीठ को सीधा रखें और घुटनों को झुकाएं।
-  फर्श, फिसलन वाली सतहों पर और सीढ़ियों पर सावधानी से चलें।
-  बढ़े हुए वजन को कम करने पर ध्यान दें।
-  सख्त अभ्यास में शामिल होने से बचें।
-  यदि व्यायाम करना शुरू करते हैं, तो धीरे-धीरे शुरू करें।

आराम के लिए क्या करें
दर्द का इलाज बर्फ से 

मांसपेशियों में चोट लगने या खिंचाव उत्पन्न होने के तुरंत बाद प्रभावित स्थान पर बर्फ से सिकाई करनी चाहिए। इससे सूजन में कमी आती है। बर्फ को सीधे त्वचा पर नहीं डालना चाहिए। एक तौलिया में बर्फ लपेटकर या बर्फ पैकेट का प्रयोग करें। बर्फ से मांसपेशियों की लगभग 20 मिनट तक सिकाई करनी चाहिए। पहले दिन हर घंटे इस प्रक्रिया को दोहरा सकते हैं और अगले कई दिनों के लिए हर चार घंटे पर बर्फ सिकाई करनी चाहिए।

आराम करें
मसल्स में खिंचाव का उपचार करने के लिए आराम बहुत जरूरी होता है। यदि आप खिंचाव की स्थिति से पीड़ित हैं और कोई भी गतिविधि दर्द में वृद्घि का कारण बनती है, तो कुछ दिनों के लिए मांसपेशियों को आराम देना चाहिए और इनका अधिक उपयोग करने से बचना चाहिए। आराम के दौरान धीरे-धीरे प्रभावित मांसपेशियों के समूह का उपयोग करते रहना चाहिए, क्योंकि बहुत अधिक आराम मांसपेशियों को कमजोर बना सकता है।

व्यायाम करें
मसल्स पेन के लिए जरूरी है कि आप व्यायाम पर ध्यान दें। रोज व्यायाम न करने से ये समस्या ज्यादा होने का डर रहता है। इसके लिए आप चाहे कुर्सी पर बैठे हों या खड़े होकर कोई भी कार्य कर रहे हों, जितना संभव हो कंधों को ऊपर की ओर उचकाएं। ऐसा करने से गर्दन और कंधों पर खिंचाव महसूस होगा। अपनी क्षमता के हिसाब से इस अवस्था में रुकें। कुछ देर बाद सामान्य अवस्था में आ जाएं। इस स्ट्रेचिंग एक्सरसाइज को 3-4 बार दोहराएं। 

अपनी दोनों भुजाओं को अपने सिर के ऊपर करें, जिससे हथेलियां आकाश की तरफ रहें। बाहों को थोड़ा और ऊपर खींचें और कंधों के समानांतर फैला लें। हाथ की हथेलियों और अंगुलियों को ऊपर-नीचे और दाएं-बाएं करें। इससे आपके हाथों को आराम मिलेगा। 

-   सीधे खड़े हो जाएं और हथेलियों को कमर पर रखें। हल्के से कमर को आगे की ओर धकेल लें। इस अवस्था में आपके घुटने थोड़े से मुड़े होने चाहिए। इस अवस्था में 10 सेकेंड तक रहें। फिर सामान्य अवस्था में वापस आ जाएं। इस क्रिया को दो या इससे ज्यादा बार दोहराएं। कमर और गर्दन की मांसपेशियों में खिंचाव बनेगा, जिससे अकड़न कम होगी।

कैल्शियम और पोटैशियम 
कैल्शियम और पोटैशियम मानव शरीर के लिए आवश्यक पोषक तत्वों के रूप में जाने जाते है, जो मांसपेशियों में खिंचाव या तनाव  के दौरान उपचार प्रक्रिया में मदद करते हैं। तनाव की स्थिति में इन तत्वों से भरपूर आहार को अपने प्रतिदिन के भोजन में शामिल करें। दही, दूध, मछली, अंडे, पालक, आलू, बादाम आदि का सेवन करें।

पेट में खिंचाव होने का क्या कारण है?

कई कारण और स्थितियां हो सकती हैं जो पेट में ऐंठन का कारण बन सकती हैं। वह अंतर्निहित कारण हमेशा गंभीर नहीं होता है। यह गैस से लेकर असामान्य वृद्धि, संक्रमण, मासिक धर्म, गर्भावस्था और आंतों के विकारों तक हो सकता है। कभी-कभी गले और रक्त से संक्रमण पाचन तंत्र में प्रवेश कर सकता है और पेट में ऐंठन का कारण बन सकता है।

पेट की मांसपेशियों में खिंचाव होने पर क्या करना चाहिए?

योगा- पेट की मसल्स को मजबूत करने के लिए एक्सरसाइज भी जरूरी है. खासतौर पर इसके लिए आप कुछ योगासन जैसे-भुजंगासन, धनुरासन, उष्ट्रासन इत्यादि नियमित रूप से करें. इससे आपके पेट की मांसपेशियां मजबूत हो सकती हैं. हालांकि, ध्यान रखें कि अगर आप पहली बार एक्सरसाइज कर रहे हैं, तो एक्सपर्ट से सलाह जरूर लें.

कभी कभी मांसपेशियों में ऐंठन क्यों होती है?

गरम मौसम में ज्यादा देर व्यायाम करने से या शारीरिक काम ज्यादा करने के कारण भी मांसपेशियों में ऐंठन आ सकती है। खून की आपूर्ति में कमी: जिन धमनियों के जरिए पैरों में खून पहुंचता है, अगर वह संकुचित हो जाएं तो इससे आपके पैरों की मांसपेशियों में ऐंठन आ सकती है जिसके कारण आपको व्यायाम करते समय गंभीर दर्द महसूस हो सकता है।

मांसपेशियों में खिंचाव को क्या कहते हैं?

जब अत्यधिक खिंचाव के कारण पेशियों के फाइबर फट जाते हैं तो इसे पेशियों का खिंचाव (pulled muscle) कहते हैं। इसी तरह का घाव यदि स्नायुओं (लिगामेन्ट्स) में हो तो उसे मोच (स्प्रेन) कहते हैं