निम्नलिखित तापमानों को केल्विन इकाई में परिवर्तित कैसे करें? - nimnalikhit taapamaanon ko kelvin ikaee mein parivartit kaise karen?

हमारा तो दिया गया निम्नलिखित तापमान को केल्विन इकाई में परिवर्तित करें पहला दिया गया 25 डिग्री सेल्सियस दूध दिया गया 373 डिग्री सेल्सियस से लेकर दे तो हमें पता है जब भी हमें केल्विन टो सेल्सियस में बदलना होता तो केल्विन बराबर होता डिग्री सेल्सियस प्लस 273 ठीक है मतलब कोई भी चीज अगर हमें सेल्सियस में दी गई है तो केल्विन ताप मान के पैमाने पर अगर हमें बदलना है तो क्या करेंगे सेल्सियस वाले को 273 में जोड़ देंगे ठीक है जैसे यहां पर 25 डिग्री दिया गया तो केल्विन बदलना है तो क्या हो जाएगा 25 प्लस 273 कितना आ जाएगा 25 डिग्री सेल्सियस प्ले 273 जवाब छोड़ोगे 5381 के साथ आठ नौ 298 और यह किस में आएगा केल्विन में ठीक है तो केल्विन पैमाने केल्विन पैमाने पर तापमान 25 डिग्री सेल्सियस का तापमान इस तरह दिखते हैं केल्विन पैमाने पर 25 डिग्री सेल्सियस का तापमान कितना हो जाएगा 298

केल्विन होगा ठीक जलेबी वाले देखते दिवाला मारे कितना दिया क्या 373 373 को अगर आप को बदलना है तो डिग्री सेल्सियस प्ले 273 373 सेल्सियस में दिया गया क्या जगह 373 प्लस 273 कितना जगह 33677 14325 1646 केल्विन ठीक है तो 273 डिग्री 373 डिग्री सेल्सियस का खेल विन पैमाने पर तापमान 646 केल्विन होगा ठीक है धन्यवाद

निम्नलिखित तापमानों को सेल्सियस में परिवर्तित करें:
573K

केल्विन मापक्रम पर तापमान = सेल्सियस इकाई पर तापमान + 273

सेल्सियस इकाई पर तापमान = केल्विन मापक्रम पर तापमान - 273

                                 = 573 - 273 = 300oC

1329 Views

निम्नलिखित तापमानों को सेल्सियस इकाई में परिवर्तित करें:
300K

केल्विन मापक्रम पर तापमान = सेल्सियस मापक्रम तापमान + 273

300K = सेल्सियस मापक्रम तापमान + 273

सेल्सियस मापक्रम तापमान = 300 - 270 = 27oC

4949 Views

केल्विन मापक्रम पर तापमान = सेल्सियस मापक्रम पर तापमान + 273

केल्विन मापक्रम पर तापमान = 25 + 273 = 298K

410 Views

निम्नलिखित तापमानों को केल्विन इकाई में परिवर्तित करें:
373oC

केल्विन मापक्रम पर तापमान = सेल्सियस मापक्रम पर तापमान + 273

केल्विन मापक्रम पर तापमान = 373 + 273 = 646K

329 Views

निम्नलिखित अवलोकनों हेतु कारण लिखें:
(a) नैफ़्थलीन को रखा रहने देने पर यह समय के सह कुछ भी ठोस छोड़े बिना अदृश्य हो जाती है।

नैफ़्थलीन ऊर्ध्वपातन का गुणधर्म दर्शाता है। नैफ़्थलीन का वाष्पीकरण बहुत आसानी से हो जाता है जिसके कारण यह कोई ठोस छोड़े बिना अदृश्य हो जाती है।

648 Views

प्रश्न: 1. निम्नलिखित तापमानों को सेल्सियस इकाई में परिवर्तित करें:

(a) 293 K

हल :

हम जानते हैं कि

केल्विन (K) में तापमान – 273 = डिग्री सेल्सियस में तापमान

∴ 293 K – 273 = `20^o\ C`

∴ 293 K = `20^o\ C`

(b) 470 K

हल :

हम जानते हैं कि

केल्विन (K) में तापमान – 273 = डिग्री सेल्सियस में तापमान

∴ 470 K – 273 = `197^o\ C`

∴ 470 K = `197^o\ C`

प्रश्न: 2. निम्नलिखित तापमानों को केल्विन इकाई में परिवर्तित करें:

(a) `25^o\ C`

हल:

हम जानते हैं कि

केल्विन (K) में तापमान – 273 = डिग्री सेल्सियस में तापमान

∴ `25^o\ C` + 273 = 298 K

∴ `25^o\ C` = 298 K

(b) `373^o\ C`

हल :

हम जानते हैं कि

केल्विन (K) में तापमान – 273 = डिग्री सेल्सियस में तापमान

∴ `373^o\ C` + 273 = 646 K

∴ `373^o\ C` = 546 K

प्रश्न: 3. निम्नलिखित अवलोकनों हेतु कारण लिखें

(a)नैफ्थलीन को रखा रहने देने पर यह समय के साथ कुछ भी ठोस पदार्थ छोड़े बिना अदृश्य हो जाती है।

हल :

बिना द्रव में परिवर्तित हुए ही तापमान के कारण ठोस का सीधे गैस में तथा गैस का सीधे ठोस में बदलने की प्रक्रिया उर्ध्वपातन कहलाती है।

नैफ्थलीन में उर्ध्वपातन होता है।

अत: नैफ्थलीन को रखा रहने देने पर उर्ध्वपातन के कारण यह समय के साथ कुछ भी ठोस पदार्थ छोड़े बिना ही गैस में बदल जाने के कारण अदृश्य हो जाती है।

(b)हमें इत्र की गंघ बहुत दूर बैठे हुए भी पहुँच जाती है।

हल :

इत्र की गंघ एक प्रकार की गैस है। गैस के कण अनियमित रूप से ओर लगातार गति करते रहते हैं। इत्र से निकलने वाले गैस के रूप में गंध के कण हवा के कणों के साथ मिलकर हमारे पास तक पहुँच जाते हैं, जिससे हम दूर बैठे हुए भी इत्र की गंध महसूस कर पाते हैं।

दो पदार्थों के कणों का गुरूत्वाकर्षण बल के बिरूद्ध आपस में मिलना विसरण कहलाती है।

अत: विसरण के कारण ही हमें इत्र की गंघ बहुत दूर बैठे हुए भी पहुँच जाती है।

प्रश्न: 4.निम्नांकित पदार्थों को उनके कणों के बीच बढ़ते हुए आकर्षण के अनुसार व्यवस्थित करें:

(a) जल (b) चीनी (c)ऑक्सीजन

हल :

ऑक्सीजन < जल < चीनी

ब्याख्या:

ऑक्सीजन एक गैस है। गैस के कणों के बीच आकर्षण बल लगभग नगण्य होता है।

जल एक द्रव है। द्रव के कणों के बीच आकर्षण बल गैस से ज्यादा परंतु ठोस से कम होता है।

चीनी एक ठोस पदार्थ है। ठोस के कणों के बीच आकर्षण बल पदार्थ की अन्य अवस्थाओं की तुलना में अधिकतम होता है।

प्रश्न: 5. निम्नलिखित तापमानों पर जल की भौतिक अवस्था क्या है:

(a) `25^o\ C`

हल : जल `25^o\ C` पर द्रव अवस्था में रहता है।

(b) `0^o\ C`

हल : चूँकि जल `0^oC` पर जम जाता है तथा बर्फ बन जाता है। अत: `0^o\ C` पर जल की अवस्था ठोस होती है।

(c) `100^o\ C`

हल: जल का क्वथनांक `100^o\ C` है, अर्थात `100^o\ C` पर जल उबलने लगता है तथा वाष्प में परिणत होने लगता है। अत: `100^o\ C` पर जल का कुछ भाग वाष्प के रूप में तथा कुछ भाग द्रव के रूप में रहता है। अत: `100^o\ C` जल संक्रमण अवस्था में रहता है।

प्रश्न: 6. पुष्टि हेतु कारण दें:

(a) जल कमरे के ताप पर द्रव है।

हल :

कमरे का तापमान प्राय: `20^o\ C` to `24^o\ C` के बीच माना जाता है।

पदार्थ जिसका आयतन निश्चित परंतु आकार अनिश्चित हो द्रव कहलाता है।

चूँकि कमरे के तापमान पर जल का आयतन निश्चित रहता है, परंतु आकार अनिश्चित रहता है, अर्थात जल उस बर्तन का आकार ले लेता है, जिसमें उसे रखा जाता है। अत: कमरे के तापमान पर जल द्रव अवस्था में होता है।

(b) लोहे की अलमारी कमरे के ताप पर ठोस है।

हल :

वैसे पदार्थ जिसका आयतन तथा आकार दोनों ही निश्चित हो, ठोस कहलाता है।

चूँकि कमरे के तापमान पर लोहे की अलमारी का आयतन तथा आकार दोनों ही निश्चित रहता है, अत: कमरे के ताप पर लोहे की अलमारी ठोस होती है।

प्रश्न: 7. 273 K पर बर्फ को ठंढ़ा करने पर तथा जल को इसी तापमान पर ठंढ़ा करने पर शीतलता का प्रभाव अधिक क्यों होता है?

हल :

273 K (`O^o\C`) पर जल में उसी तापक्रम अर्थात 273 K (`O^o\C`) के बर्फ से ज्यादा उष्मीय उर्जा होती है। क्योंकि बर्फ पिघलने में क्रम में उष्मीय उर्जा गुप्त उष्मा के रूप में अवशोषित करती है।

अत: 273 K (`O^o\C`) पर ठंढ़ा करने के लिये बर्फ को ठंढ़ा करने के लिए इसी तापमान जल की तुलना में ज्यादा उष्मा उर्जा की आवश्यकता होती है। यही कारण है कि 273 K पर बर्फ को ठंढ़ा करने पर तथा जल को इसी तापमान पर ठंढ़ा करने पर शीतलता का प्रभाव अधिक होता है।

प्रश्न: 8. उबलते हुए जल अथवा भाप में से जलने की तीव्रता किसमें अधिक महसूस होती है?

हल :

जल का क्वथनांक `100^o\ C` होता है, अर्थात जल `100^o\ C` पर उबलना शुरू करता है तथा वाष्प में बदलने लगता है। पूरी तरह जल के वाष्प में बदलने तक लगातार उष्मीय उर्जा प्रदान करने के बाबजूद भी सिस्टम का तापमान स्थिर रहता है। जल के पूरी तरह वाष्प में बदलने तक दी गई उष्मीय उर्जा गुप्त ताप के रूप में खर्च होती है।

अत: वाष्प में उबलते हुए जल की तुलना में अधिक उष्मीय उर्जा होती है।

अत: उबलते हुए जल अथवा भाप में से भाप में जलने की तीव्रता अधिक महसूस होती है।

प्रश्न: 9. निम्नलिखित चित्र के लिए A, B, C, D, E तथा F की अवस्था परिवर्तन को नामांकित करें:

हल:

(A) ⇒ उष्मा, गलना

(B) ⇒ उष्मा, वाष्पीकरण

(C) ⇒ शीतलता, संघनन

(D) ⇒ शीतलता, जमना

(E) ⇒ उर्ध्वपातन

(F) ⇒ उर्ध्वपातन

तापमान को केल्विन इकाई में कैसे परिवर्तित करें?

यह दोनों पैमानों के नल बिंदुओं के अन्तर को 273.15 kelvins (0 K ≡ −273.15 °C और 273.16 K ≡ 0.01 °C) के बराबर रखता है। कैल्विन में तापमान को अन्य पैमानों में निम्न सारणी द्वारा अंतरण किया जासकता है।

300 केल्विन को सेल्सियस में कैसे परिवर्तित करें?

Solution : सेल्सियस =K-273 = 300 K-273-`27^(@)`C.

25 डिग्री सेल्सियस को केल्विन में कैसे बदलें?

मूल सूत्र °C + 273.15 = K है। इसलिए, केल्विन पैमाने पर रीडिंग 25∘C + 273 = 298K होती है।

तापमान को सेल्सियस में कैसे बदलते हैं?

विधि 1 का 6: फ़ारेनहाइट तापमान में से 32 घटाएँ: चूँकि फ़ारेनहाइट में हिमांक 32 और सेल्सियस में या 0 होता है, आपको फ़ारेनहाइट तापमान को रूपांतरित करने के लिए इसमें से 32 घटाना होगा। उदाहरण के लिए, आपका शुरुआत का फ़ारेनहाइट तापमान 74°F है, तो 74 में से 32 घटाएँ। 74-32 = 42 ।

Toplist

नवीनतम लेख

टैग