कम उम्र में लड़की के पीरियड्स शुरू होने के बाद बहुत से पेरेंट्स के मन में यह सवाल आता है की अब बेटी की हाइट रुक तो नहीं जाएगी। इसको लेकर लड़कियां भी चिंता में रहती है की मेरी हाइट बढ़ेगी या नहीं।
क्या पीरियड के बाद हाइट बढ़ती है - Does Height Increase After Period
लड़कियाँ अक्सर इस चिंता में रहती है की माहवारी आने के बाद कहीं मेरी लम्बाई बढ़ना रुक गई तो क्या होगा। सबसे पहले आपको यह देखना होगा की आपके पेरेंट्स
की लम्बाई कितनी है क्योंकि अधिकतर बच्चों की लम्बाई उनके पेरेंट्स की लम्बाई पर निर्भर करती है।
कुछ मामलों में लड़कियों की हाइट अपने माता-पिता से ज्यादा होती है या फिर कम होती है। जब आपके पहली बार पीरियड्स शुरू होते है तो उस अवधि से ६ से १२ महीने पहले का समय आपके शारीरिक विकास का समय होता है जिसमें कई तरह के बदलाव आते है। ऐसा उस समय होता है जब आपको ज्यादा भूख लगने लगती है।
झुकने की कोशिश करते समय तंग हैमस्ट्रिंग होते हैं। किसी भी लड़की की हाइट पहली बार
पीरियड्स शुरू होने के बाद १ से २ इंच बढ़ती है। यदि आपके पीरियड्स अभी तक शुरू नहीं हुए तो आपको लम्बाई बढ़ाने के तरीके आजमाना चाहिए।
जिसमें पौष्टिक आहार सबसे महत्वपूर्ण है। पौष्टिक खाद्य समूह का सेवन करे। अगर आपकी पहली माहवारी शुरू हो गई है तो आपकी लम्बाई अभी भी बढ़ सकती है।
आपको स्वस्थ आहार लेना होगा और व्यायाम को अपने दैनिक जीवन में शामिल करना होगा। चेक करे की आप विटामिन डी और कैल्शियम सही मात्रा में ले रहे है या नहीं। अपनी हड्डियों को मजबूत बनाये रखे।
लंबाई बढ़ाने के लिए क्या करना चाहिए - How to Increase Your Height
कुछ ऐसे तरीके जिन्हें अपनाकर आप अपनी
हाइट बढ़ा सकते है।
१. संतुलित आहार खाएं
अपने आहार में पोषक तत्व शामिल करे। जिसके लिए फल, साबुत अनाज, सब्जियां, डेरी प्रोडक्ट्स, प्रोटीन आदि खाएं। कैल्शियम और विटामिन डी की पर्याप्त मात्रा लें।
२. अच्छी नींद लें
पर्याप्त नींद हाइट बढ़ाने के लिए बहुत जरूरी है क्योंकि आराम के समय ऊतक का पुनर्जनन होता है। नींद के समय शरीर में ग्रोथ हार्मोन का उत्पादन होता है।
३. एक्सरसाइज करे
आपको नियमित रूप से एक्सरसाइज करना चाहिए। यह शरीर को फिट रखती है और हाइट बढ़ाती है। कुछ एक्सरसाइज जो हाइट बढ़ाने में आपकी मदद करेगी।
- रस्सी कूदना
- योग करना
- सिटअप्स
- पुशअप्स
- ओवरहेड बार से लटकना
अन्य गतिविधियाँ जैसे: स्विमिंग करना, बास्केटबॉल, फ़ुटबॉल।
४. अच्छी मुद्रा का अभ्यास
अगर आप खराब पॉश्चर में बैठते या खड़े होते है तो यह आपको छोटा दिखाता है। आपकी लम्बाई खड़े होने, बैठने और सोने पर भी निर्भर करती है। सही पॉश्चर अपनाएँ यह आपको लम्बा दिखाने में मदद करेंगे।
मुद्रा में सुधार के लिए आप इन पोज़ को ट्राई करे।
- माउंटेन पोज
- चाइल्ड पोज
- कोबरा पोज
५. लंबाई बढ़ाने के लिए खाद्य उत्पाद
अपने आहार में कुछ खास तरह के खाद्य पदार्थ शामिल किये जाये तो कुछ इंच तक हाइट बढ़ सकती
है। लम्बाई बढ़ाने के लिए यह खाद्य पदार्थ खाने के साथ ही शारीरिक गतिविधियां करना भी आवश्यक है।
- अंडे
- सोया प्रोडट्स या सोयाबीन
- केले
- ओटमील
- हरी सब्जियां
- चिकन
- डेरी प्रोडक्ट्स
६. शरीर को हाइड्रेट रखें
पानी शरीर के लिए बहुत जरूरी है। शरीर के विषाक्त पदार्थ को बाहर निकालना जरुरी होता है इसलिए पर्याप्त मात्रा में पानी पिएं। शरीर जब सही तरह से काम करेगा तो आप अपने स्वास्थ्य और अपनी हाइट में अंतर देख पाएंगे।
निष्कर्ष:
पीरियड्स आने पर परेशान ना हो अपने आहार में अच्छे खाद्य पदार्थ शामिल करे और नियमित तौर पर व्यायाम करे। व्यायाम आपको स्वस्थ और फिट बनाये रखेगा और हाइट बढ़ाने में भी मदद करेगा।
लड़का हो या लड़की अच्छा शारीरिक कद सभी के आत्मविश्वास को बढ़ाता है. साथ ही व्यक्तित्व में भी निखार लाता है. अक्सर कहा जाता है कि लड़कों की लंबाई बढ़ी उम्र तक भी बढ़ती रहती है, लेकिन लड़कियों में पीरियड्स शुरू होने के बाद लंबाई बढ़नी रुक जाती है. ऐसे में जिन लड़कियों के पीरियड्स कम उम्र में ही शुरू हो जाते हैं, वे अक्सर अपनी हाइट को लेकर परेशान रहती हैं. उनके मन में अक्सर सवाल आता है कि पीरियड्स के बाद लंबाई बढ़ सकती है या नहीं.
आज इस लेख में हम इसी मुद्दे पर चर्चा करेंगे और जानने का प्रयास करेंगे कि पीरियड शुरू होने के बाद हाइट किस प्रकार प्रभावित होती है -
(और पढ़ें - लंबाई बढ़ाने के आसान उपाय)
कम उम्र में शुरू हो गए हैं बच्ची के पीरियड्स, हाईट बढ़ेगी या नहीं? एक्सपर्ट से जानें सच्चाई
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बीते कुछ सालों में तमाम स्टडी और रिपोर्ट सामने आई हैं जिससे पता चलता है कि आजकल बच्चियों में कम उम्र में ही मेंशुरेशन यानी माहवारी शुरू हो जाती है. अर्ली एज में पीरियड्स शुरू होने पर बच्चों में चिंता बढ़ने के साथ साथ पेरेंट्स के भीतर भी कई तरह की अनिश्चितताएं घर कर जाती हैं. उनमें से एक है हाइट बढ़ने को लेकर चिंता. ज्यादातर पेरेंट्स मानते हैं कि पीरियड्स शुरू होने के बाद बच्चों में हाइट बढ़ना बिल्कुल बंद हो जाती है. आइए विशेषज्ञ डॉक्टरों से जानते हैं कि इसमें कितनी सच्चाई है. अगर ये सच है तो किस तरह माता-पिता बच्चों की हाइट बढ़ने को लेकर सजग होकर उनकी मदद कर सकते हैं.
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पहली बार के मेंसुरेशन को मेडिकल साइंस की भाषा में मेनार्क (Menarche)कहा जाता है. साल 2018 की एनसीबीआई की एक स्टडी के मुताबिक 13 या इससे 1.1 साल कम या ज्यादा उम्र की बच्चियों के बड़े प्रतिशत ने पहली बार मेंशुरेशन फेस किया. लेकिन इसमें लंबाई न बढ़ने की बात को लेकर विशेषज्ञ डॉक्टर बहुत अलग नजरिये से देखते हैं. डॉक्टरों का कहना है कि इसमें थोड़ा सच है, लेकिन ये पूरी तरह से सच भी नहीं है जितना इसे बढ़ा-चढ़ाकर मान लिया जाता है.
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सरोजनी नायडू मेडिकल कॉलेज आगरा में प्रोफसर डॉ निधि कहती हैं कि अर्ली एज में पीरियड्स शुरू होने से लंबाई बढ़ने को लेकर जो कहा जाता है इसके पीछे फिजियोलॉजी का तर्क काफी ठोस है. जिसके अनुसार इसका जिम्मेदार एस्ट्रोजन हार्मोन होता है. वो बताती हैं कि हमारे शरीर के लांग बोन के जो एंड्स होते हैं वो कार्टिलेज एक तरह से सॉफ्ट टिश्यू के होते हैं जो कैल्शिफाई नहीं होते. लेकिन कई बार एस्ट्रोजन इन एंड्स को कैल्शिफाई करके रोक देता है. शरीर में एस्ट्रोजन हार्मोन बनने पर इस बात की चिंता बढ़ जाती है कि ये लंबाई को बढ़ने में बाधा बन सकता है.
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डॉ निधि कहती हैं कि इस फिजियोलॉजिकल अफेक्ट से हम मुंह नहीं मोड़ सकते, लेकिन इसका दूसरा पहलू भी है वो ये कि एस्ट्रोजन हार्मोन आने से हाइट पर असर पड़ता है, इससे स्टैंडर्ड हाइट कुछ कम हो सकती है. लेकिन हमें ये भी पता होना चाहिए कि छोटी बच्चियों में एस्ट्रोजन का लेवल अचानक इतना भी नहीं बढ़ता कि उनकी हाइट पर बहुत ज्यादा असर डाले. वो कहती हैं कि हाइट को लेकर पेरेंट्स को जागरूक होना चाहिए लेकिन इससे डरने वाली जैसी बात नहीं है.
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लेडी हार्डिंग मेडिकल कॉलेज दिल्ली की प्रोफेसर डॉ मंजू पुरी कहती हैं कि ये बिल्कुल जरूरी नहीं है कि पीरियड्स हो जाए और हाइट बिल्कुल न बढ़े. बेसिकली बच्चे की हाइट पेरेंट्स की हाइट पर डिपेंड करती है. आजकल ज्यादा वेट और एक्सपोजर के कारण ही बच्चियां मेनार्की का सामना जल्दी करती हैं. फिर भी एक बार पीरियड्स आने के बाद माता-पिता को बहुत सजग होने की जरूरत होती है ताकि बच्चे की ग्रोथ पर बिल्कुल भी नकारात्मक असर न पड़े.
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इसके लिए सबसे ज्यादा जरूरी है कि उनकी डाइट इस तरह प्लान करें जिससे उनका वेट न बढ़े. बच्चों को हाई प्रोटीन और कैल्शियम युक्त डाइट दें, विटामिन, प्रोटीन, कार्बोहाइड्रेट्स, मिनरल्स, कैल्शियम, जिंक, मैग्नीशियम आदि तत्व भी बच्ची के लिए हेल्पफुल होंगे. साथ ही स्ट्रेचिंग और स्विमिंग जैसी एक्सरसाइज जरूर करने को कहें. बच्चे की मनोवैज्ञानिक काउंसिलिंग करके उसे फिट रहने के लिए प्रेरित करें. कोशिश करें कि बच्चे चिकनाईयुक्त भोजन या जंक फूड से पूरी तरह दूर रहें. डॉ पुरी कहती हैं कि वैज्ञानिक शोधों में ऐसा पाया गया है कि मोटापा एस्ट्रोजन बढ़ने की बड़ी वजह होती है.
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डॉ पुरी कहती हैं कि तमाम रिपोर्ट्स बताती हैं कि पीरियड्स शुरू होने के बाद दो साल तक एस्ट्रोजन का लेवल इतना नहीं बढ़ता जो बच्चों की हाइट पर नकारात्मक असर डालें, इसलिए कोशिश यही करें कि मेंशुरेशन स्टार्ट होने के बाद अपनी सजगता भी बढ़ा दें. दो साल तक बच्चे को स्ट्रेचिंग और हाइट ग्रोथ के लिए पूरी तरह तैयार करें. बच्चे के पोषण का पूरा ध्यान रखें ताकि वो मोटे न होकर हेल्दी हों.
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शरीर के सभी अंगों के पूरे डेवलेपमेंट के लिए बॉडी का पूरी तरह हाइड्रेट रहना बहुत जरूरी है. बच्चे को किसी तरह का स्ट्रेस देने से बचें. साथ ही विटामिन डी भी एक ऐसा तत्व है जो हाइट बढ़ने में काफी मददगार होता है. समय समय पर विटामिन डी टेस्ट कराएं और डॉक्टर की सलाह पर बच्चे को विटामिन डी जरूर देते रहें, इससे हड्डियों के विकास में मदद मिलती है. सुबह की धूप काफी फायदेमंद हो सकती है.
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डॉ निधि कहती हैं कि लड़कियों में 18 साल की उम्र तक हड्डियों और जोड़ों के बीच में एक कार्टिलेज या नरम हड्डी का विकास होता है. माता-पिता को किसी के बहकावे में आकर बच्चों को किसी भी तरह की हार्मोनल दवाएं नहीं देनी चाहिए. विदेशों में ऐसे भी कई मामले देखे गए हैं जिसमें पेरेंट्स एस्ट्रोजन लेवल को कम करने के लिए हार्मोनल दवा देते हैं, इससे शरीर का नेचुरल हार्मोन लेवल गड़बड़ हो जाता है, जिससे कई तरह की समस्याएं पैदा हो सकती हैं. इसलिए नेचुरल डाइट और एक्सरसाइज के जरिये ही हार्मोंस को कंट्रोल में रखने की कोशिश की जानी चाहिए.